Book Title: Tattvarthadhigam Sutra Part 02
Author(s): Udayprabhvijay
Publisher: Keshar Chandra Prabhav Hem Granthmala

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Page 358
________________ ३२६ परिशिष्ट-५ . तत्त्वार्थाधिगमसूत्राणां बीजभूत “आगम सूत्राणि" . तत्त्वार्थसूत्र अध्याय - २, सूत्र - १४ से किं तं ओराला तसा पाणा ? चउव्विहा पण्णत्ता, तं जहा - बेइंदिया तेइंदिया चउरिंदिया पंचेदिया। (जीवाभिगम प्रतिपत्ति - १, सूत्र - २७) तत्त्वार्थसूत्र अध्याय - २, सूत्र - १५ कति णं भंते ! इंदिया पण्णत्ता ? गोयमा ! पंचेंदिया पण्णत्ता। (प्रज्ञा. सूत्र - १५, इन्द्रिय पद उद्दे. - सू. १९१) तत्त्वार्थसूत्र अध्याय - २, सूत्र - १६ कइविहा णं भंते ! इंदिया पण्णत्ता ? गोयमा ! दुविहा पण्णत्ता, तं जहा - दव्विंदिया य भाव्विंदिया य। ___ (प्रज्ञा. पद - १५, उद्दे - १) तत्त्वार्थसूत्र अध्याय - २, सूत्र - १७ कइविहा णं भते ! इंदियउवचए पण्णत्ते ? गोयमा ! पंचविहा इंदियउवचए पण्णत्ते । कइविहे णं भंते ! इन्दियणिवत्तणा पण्णत्ता ? गोयमा ! पंचविहा इन्दियणिवत्तणा पण्णत्ता। (प्रज्ञा. उद्दे. - २, इन्द्रिय पद - १५) तत्त्वार्थसूत्र अध्याय - २, सूत्र - १८ कतिविहा णं भंते ! इन्दियलद्धी पण्णत्ता ? गोयमा ! पंचविहा इन्दियलद्धी पण्णत्ता। कतिविहा णं भंते ! इन्दिय उवउगद्धा पण्णत्ता ? गोयमा ! पंचविहा इन्दियउवउगद्धा पण्णत्ता। (प्रज्ञा. उद्दे. - २, इन्द्रिय पद - १५) तत्त्वार्थसूत्र अध्याय - २, सूत्र - २० सोइन्दिए चक्खिंदिए घाणिदिए जिभिंदिए फासिदिए। (प्रज्ञा. इन्द्रिय पद - १५) पंच इन्दियत्था पण्णत्ता, तं जहा - सोइन्दियत्थे जाव फासिंदियत्थे । (स्था. स्थान - ५, उद्दे. - ३, सूत्र - ४४३) तत्त्वार्थसूत्र अध्याय - २, सूत्र - २१ सुणइत्ति सुअं। (नन्दि सूत्र - २४) तत्त्वार्थसूत्र अध्याय - २, सूत्र - २२ से किं तं एगिंदियसंसारसमावन्नजीवपण्णवणा ? एगिंदियसंसारसमावण्णजीवपण्णवणा पंचविहा पण्णत्ता, तं जहा - पुढवीकाइया, आउकाइया, तेउकाइया, वाउकाइया, वणस्सइकाइया। (प्रज्ञा. प्रथम पद)

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