Book Title: Sramana 1990 04
Author(s): Sagarmal Jain
Publisher: Parshvanath Vidhyashram Varanasi

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Page 110
________________ ( १०४ ) कार्य प्रारम्भ होने के पूर्व ही आप दिवंगत हो गये । आपके निधन से न केवल भ्रातृसभा बल्कि सम्पूर्ण जैन समाज की अपूरणीय क्षति हुई है । विद्याश्रम परिवार की ओर से स्व० श्री हरीश जी को हार्दिक श्रद्धाञ्जलि ...... डा० फूलचन्दजी जैन 'प्रेमी' साहित्य पुरस्कार से पुनः सम्मानित पार्श्वनाथ विद्याश्रम शोध संस्थान के लिये यह अत्यन्त हर्ष का विषय है कि विद्याश्रम के पूर्व शोधछात्र और सम्प्रति सम्पूर्णानन्द संस्कृत विश्वविद्यालय के 'श्रमण विद्या संकाय' में जैनदर्शन विभाग के अध्यक्ष डा० फूल वन्द जैन को उनके द्वारा लिखित और संस्थान द्वारा प्रकाशित शोध ग्रन्थ - मूलाचार का समीक्षात्मक अध्ययन' पर श्री अखिल भारतीय साधुमार्गी जैन संघ, बीकानेर द्वारा प्रवर्तित स्व० श्रीचम्पालाल सांड स्मृति पुरस्कार से सम्मानित किया गया । ज्ञातव्य है कि डा० जैन को इसी ग्रन्थ पर जैन विद्या संस्थान, जयपुर द्वारा महावीर पुरस्कार से भी सम्मानित किया जा चुका है। पार्श्वनाथ विद्याश्रम शोध संस्थान के शोध छात्र के रूप उनके द्वारा किया गया यह शोध कार्य, जो उसी संस्थान द्वारा प्रकाशित भी हुआ है, इस संस्थान द्वारा जैन विद्या के क्षेत्र में किये गये कार्यों की गरिमा को स्पष्ट करता है । राजश्री पिक्चर्स द्वारा जैन महोत्सव वीडियो कैसेट एवं टेप कैसेट का निर्माण राजश्री पिक्चर्स, बम्बई द्वारा प्रसिद्ध फिल्म निर्माता श्री ताराचन्द जी वडजात्या की धर्मपत्नी श्रीमती शान्तादेवी की पुण्य स्मृति में ११ लघु फिल्मों का 'जैन महोत्सव' के नाम से एक वीडियो कैसेट तथा समयसार, छहढाला और द्रव्यसंग्रह को संगीत गायन और हिन्दी वाचन के माध्यम से टेप कैसेट के रूप में बिक्री हेतु प्रस्तुत किया है । राजश्री पिक्चर्स के उक्त प्रयास से प्राकृतभाषा से अनभिज्ञ धर्मप्रेमीजन भी उक्त ग्रन्थों के श्रवण-मनन तथा तीर्थदर्शन का लाभ ले सकेंगे । Jain Education International For Private & Personal Use Only www.jainelibrary.org

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