Book Title: Pirdan Lalas Granthavali
Author(s): Agarchand Nahta
Publisher: Sadul Rajasthani Research Institute Bikaner
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सांमळा (५५)-श्यामल, श्रीकृष्ण । | साधुपा (९८)- सज्जन, पुरुपो। सांमहा (६५)-सम्मुख, सामने । साप (८३)-सर्प, काली नाग। सांमही (२८)-सम्मुख ।
सापियो (७४)-श्राप दिया । सांमि (१६)- स्वामी, श्रीकृष्ण । सामलौ (८२)-श्यामल, श्रीकृष्ण । सांमी (88)-स्वामी।
सामि (४४)- स्वामी। सांम्हेई (२२)
सायर (४३)-सागर, समुद्र । सांम्ही (३७)-सम्मुख, सामने । सारंगपाणी (८६)सासही (२०)
सारगवर (३३)-विष्णु । सा (२)-समान ?
सारखा (१५)--समान । साई (१८)-स्वामी।
सारद (१)- शारदा, सरस्वती । ‘साच (३२)-सत्य।
सारदा (७४)-शारदा, सरस्वती। साचरी (८०) सत्य ।
सारा (४४)- सव। साचा (२२)-सत्य ।
साराहियो (८८) सराहना की। साचि (५०)-सत्य ।
सारिखाँ (५७)-- समान, सदृश । साज (१००)साजा (६२)-पूर्ण।
सारिख (७४)-समान । साझरण (१००)—सजा देने के लिए,
सारीख (३६, ५७)-समान । मारने के लिए।
सारीखै (६३)-समान, सदृश । साथरौ (१२)-ढेर।
सारीखौ (४२, ७५)-समान । नोट-यह गन्द सस्तर का अपभ्रश है सारूप (४४)-पाच प्रकार की मुक्तियों जिसका अर्थ शय्या अथवा घास
मे एक प्रकार की मुक्ति, फूस फैलाकर बनाया हुआ
सारूप्य । विस्तर परन्तु मुहावरा के अर्थ सारौ (१००)--अधिकार, हुकम । मे ढेर है।
साल (७६, ९८)-गल्य । साय (५७)-साथ मे।
सालले (८६)-गायन किया । साथ (३३)-साथ मे।
साळा (88)-स्त्री का भाई । साद (२८, ४८)-पुकार । सालुलै (१६)-वजती है। साध (३५, ४४, ५६) साघु, सज्जन । ' साल (६६)-स्त्री का भाई ।

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