Book Title: Nyayadipika Author(s): Dharmbhushan Yati, Darbarilal Kothiya Publisher: Veer Seva Mandir Trust View full book textPage 2
________________ प्रकल कम छ अकलंक ० अध्यात्मक ● अमरको० अष्टरा० अष्टस० आ० प० प्राप्तप० श्राप्तपरी० श्राप्तमी० प्राप्तमी० काव्यमी० वरकसं ० जैनतर्कभा० ० दृश् जेन शिलालेखसं० जैमिनि० जैनेन्द्रव्या० तकदी० लर्कर्स ० तर्क संप्रहृपदकृ० तवैशा तत्त्वसं० संकेत-सूची' 11011 ० (सिंघी ग्रन्थमाला, कलकत्ता) अध्यात्मकमलमार्त्तण्ड ( वीरसेवामन्दिर, सरसावा ) (सागर बन्बई ) कलंक ग्रन्थत्रय समीप अष्टशती प्रष्टसहस्त्री श्राराप्रति पत्र प्राप्तपरीक्षा प्राप्तमीमांसा प्राप्तमीमांसावृति काव्यमीमांसा चरकसंहिता जैनतर्कभाषा כו " (जैन सिद्धान्त भवन, श्रारा ) (जैन सिद्धान्त कलकत्ता) 27 " J ( निर्णयसागर, बम्बई ) जैमिनिसूत्र जैनेन्द्रव्याकरण तदीपिका तर्कसंग्रह तर्कसंग्रहपदकृत्य तत्ववैशारदी तत्वसंग्रह १ जिन ग्रन्थों या पत्रादिकों के प्रस्तावनादिमें पूरे नाम दे दिये गये हैं उनको यहाँ संकेतसूचीमें छोड़ दिया है । -- सम्पादक (सिधी ग्रन्थमाला, कलकत्ता ) जैन शिलालेखसंग्रह ( मा० ग्रन्थमाला, बम्बई ) ( निर्णयसागर, बम्बई ) ( ( छन्नूलाल ज्ञानचन्द, बनारस) SP " ( चौखम्बा, काशी) ( गायकवाड़, बड़ोदा)Page Navigation
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