Book Title: Niryukti Panchak
Author(s): Bhadrabahuswami, Mahapragna Acharya, Kusumpragya Shramani
Publisher: Jain Vishva Bharati

View full book text
Previous | Next

Page 787
________________ परिशिष्ट १२ : विशेष नामानुक्रम ६८९ धारिणी (रानी) उनि. ११२ धुय (अध्ययन) आनि. ३१० नग्ली (विद्या) उनि.१७२/९ नंगल (कृषि उपकरण) दशनि.५७ नंद (सन्निवेश) उनि. ३३६ नंद (राजा) उनि.१०१ मंदण (भवन, प्रासाद) उनि.४०५ नंदी (वाद्य) उनि.२६३ नंदी (द्वीप) दनि.९५ नंदीसर (द्वीप) आनि.३५३ नग्गति (प्रत्येकबुद्ध) उनि. २५७ नदिखेड (जनपद) उनि, १७२/६ नमि (राजर्षि) उनि. २५३, २५५, २५७, २५८, २६३, २६४, २६६, २६७ नमि (तीर्थंकर) उनि.२६४, २६५ नया अपयन) नलदाम (व्यक्ति) दशनि.७७ नलिणिगुम्म (विमान) उनि.१७२/४, ३४६ नह (अवयव) उनि. १८२/२ नाग (करण) उनि.१९१, सूनि.१२ नागजसा (रानी) उनि.३३१ नागदत्ता (रानी) उनि.३३२ नाण (भावना) आनि. ३५१ नाणवादी (दर्शन) सूनि.३० नालंदइज्ज (अध्ययन) सूनि. २०५ नालंदा (उपनगरी) सूनि. २०४, २०५ नालिया (उपकरण) दशनि.५८ नालिएर (वृक्ष) आनि. १३३ नावा (धाहन) आनि.३३४, सूनि.१६२ नास (अवयव) उनि.१८२/२ निप्फाव (धान्य) दशनि. २३० नियतीवाय (दर्शन) सूनि.३० निव्वेयणी (कथा) दशनि. १७४, १७५ निसादी (वर्णान्तर) आनि.२७ निसाय (वर्णान्तर) आनि. २२, २३, २६ निसीह (ग्रंथ) आनि, ३६६ नेरुती (दिशा) आनि.४३ पउम (पुष्प) सूनि. १६३, १६४ पउमगुम्म (विमान) उनि.३५७ पंचाल (जनपद) उनि. २५७, २६२/१ पंडरज्जा (साध्वी) दनि. ११०, १०४ पंडिय (मरण) उनि. २०५, २१६ पंथक (राजा) उनि.३३१ पक्खेव (आहार) सूनि.१७१, १७२ पडिसंलोण (प्रतिमा) दनि. ४६ पच्चक्खाण (ग्रंथ, दृष्ट्रिवाद) आनि.३११ पज्जुण्ण (व्यक्ति) उनि.३५२ पज्जुनसेण (राजा) उनि.३३४ पज्जोत/पज्जोय (राजा) सूनि. ५७, दशनि.७८. उनि.९५, ९६ पडलब्भ (पृथ्वीकाय) आनि,७४ पड्डय (तियंञ्च) उनि.२६१ पणय (वनस्पति) आनि.१४१ पण्णत्ति (ग्रंथ) दशनि.१६७ पण्णवित्ती (दिशा) आनि.५७ पतिगा (रानी) उनि.३३४ पत्थ (माप) दशनि.२१० पस्थिव (दिव्य शस्त्र) सूनि.९८ पभावई (रानो) उनि.९६, दनि.९६ पमायप्पमाय (अध्ययन) उनि.१७५ पयण (पात्र) सूनि.७८ परसु (शस्त्र) उनि. ३७०, आनि.१४९ सूनि.३९,८१ परासर (वर्णान्तर) आनि. २३ परिमंडल (संस्थान) उनि.३८ परिमंडलग (संस्थान) उनि.४१ परियाधम्मा (दिशा) आनि.५७ पल (माप) उनि.१४७ पिनसरी)

Loading...

Page Navigation
1 ... 785 786 787 788 789 790 791 792 793 794 795 796 797 798 799 800 801 802 803 804 805 806 807 808 809 810 811 812 813 814 815 816 817 818 819 820 821 822