Book Title: Adhyatma aur Pran Pooja
Author(s): Lakhpatendra Dev Jain
Publisher: ZZZ Unknown

View full book text
Previous | Next

Page 1039
________________ (19) प्राणशक्ति विज्ञान की विद्या एवम् उसके द्वारा उपचार के अतिरिक्त अन्य क्षेत्रों में सभावित उपयोग- The Science of Pranic Energy and its application in fields (other than healing) सन्दर्भ (9) प्राणशक्ति उपचार प्राचीन विज्ञान और कला - लेखक श्री चोआ कोक सुई (2) The Ancient Science & Art of Pranic Healing by Sri Choa Kok Sui (3) Advanced Pranic Healing by Sri Choa Kok Sui (४) Pranic Psychotherapy by Sri Choa Kok Sui जिस प्रकार विज्ञान का उपयोग इंजीनियरिंग क्षेत्र में होता है. खगोल विज्ञान (astronomy ) का उपयोग ज्योतिष (astrology) में किया जाता है, उसी प्रकार प्राण ऊर्जा का उपयोग प्राणशक्ति उपचार में किए जाने के अतिरिक्त, अन्य क्षेत्रों में सम्भावित उपयोगों के विषय में भी विचार किया जाना चाहिए। Pranic Crystal Healing by Choa Kok Sui (६) उन्नतशील प्राणशक्ति उपचार के शिक्षक श्री क्लिफ सल्दान्हा (Sri Cliff Saldanha), चेन्नई द्वारा प्रस्तुतकर्ता को प्रारम्भिक प्राण उपचार, उन्नतशील प्राण उपचार एवम् प्राण मनोरोग उपचार का प्रशिक्षण (c) (5) (७) अति उन्नतशील प्राणशक्ति उपचार के शिक्षक श्री डेनियल गोरगोनिया (Sri Daniel Gorgonia), विश्व प्राणिक संस्था, फिलिप्पीन्स (World Pranic Foundation, Philippines ) द्वारा प्रस्तुतकर्ता को रत्नों द्वारा प्राण चिकित्सा का - प्रशिक्षण भक्तामर स्तोत्र परमपूज्य श्री १०८ मानुतङ्गाचार्य कृत श्रीपाल चरित्र स्व. कवि परिमल्ल कृत पद्य ग्रन्थ का पं. दीपचन्द्र जी वर्णी द्वारा हिन्दी भाषा में अनुवाद (१०) ( ११ ) चारित्र चक्रवर्ती शान्तिसागर जी - लेखक पं. सुमेरुचन्द्र दिवाकर आराधना कथा कोष, तीसरा भाग- लेखक ब्रह्मचारी श्री नेमदत्त जी ५.५६७

Loading...

Page Navigation
1 ... 1037 1038 1039 1040 1041 1042 1043 1044 1045 1046 1047 1048 1049 1050 1051 1052 1053 1054 1055 1056 1057