Book Title: Tirthankar Mahavira aur Unki Acharya Parampara Part 4
Author(s): Nemichandra Shastri
Publisher: Shantisagar Chhani Granthamala

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Page 501
________________ रत्नत्रय - रास रत्नत्रयी रत्नभूषणस्तुति रत्नाकरशतक रयणत्तयवय-कहा रयणसार रविवय- कहा (आदित्यवारकथा) रविय रविवार - कथा रविव्रत कथा JI रसरत्नाकर राखीबन्धन रास राजमती - नेमिसुर ढमाल राजमति-रास राजीमति- विप्रलम्भ रात्रिभोजन कथा रात्रिभोजनत्याग - कथा रात्रिभोजन स्यागब्रतकथा रामचन्द्र हलदुलि रामचरित रामपुराण カラ राम-सीतारास रामायण रायमल्लाभ्युदयमहाकाव्य रावणपार्श्वनाथस्तोत्र द्विमिचरिउ रिष्टसमुच्चय रुक्मिणीहरण रोहिणीरास रोहिणी विहाणकहा सकलकीर्ति रद्दघू जयसार रत्नाकरवर्णी गुणभद्र कुन्दकुन्द यशः कीर्ति ब्रह्मकारण कवि महितसागर नेमिचन्द्र ब्रह्मजिनदास साल्व ब्रह्मज्ञानसागर भगवतीदास गुणचन्द्र आशाचर भारामल ब्रह्म नेमिदास किशनसिंह गुणदास ब्रह्मजिनदास सोमसेन पद्मनाम ब्रह्मजिनदास कुमुदेन्दु पद्मसुन्दर भट्टारक दि स्वयंभु दुर्गदेव गुणदास जिनदास देवनंदि ३१३३० ४/२०१ ४१३०२ ४/३०९ ४२१८ २ ११५ ३१४११ ४१२४२ ४/३२० ४१२४३ ३/३४३ કાફ્ ३।४४३ ४२४० ३१४२४ ४१४५ ४३०५ ३।४०६ ४१२८० ४१३१९ ૫૨૪૦ ३१४४४ ४१३११ ३।३४१ ४३११ ४८३ 12 ३३२३ ४११०१, १०३ ३।१९९ ४।३१९ ३१३३९ ४१२४२ परिशिष्ट : ४८७

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