Book Title: Rajkumari Chandanbala Diwakar Chitrakatha 011
Author(s): Saritashree  Sadhvi, Shreechand Surana
Publisher: Diwakar Prakashan

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Page 34
________________ राजकुमारी चन्दनबाला एक दिन रानी मृगावती की दासी ने आकर शुभ तभी दो देवता विमान लेकर उपस्थित हुएसूचना दी राजकुमारी ! आपकी मनोकामना पूर्ण करने के लिए राजकुमारी सुना आपने ? भगवान महावीर को || देवराज इन्द्र ने विमान भेजा है। चलिये पावापुरी में केवलज्ञान प्राप्त हो गया। पावापुरी के उद्यान में भगवान महावीर का समवसरण लगा है। भगवान का समवसरण लगा है। मेरी मनोभावना पूर्ण होने का समय आ गया है। अब मैं शीघ्र ही प्रभु के चरणों में पहुंचकर दीक्षा ग्रहण ___कर अपना जीवन सफल बना लूँ...... ति DOODCOM 0.0.0.0.50.COMEOS हर्ष में भाव-विभोर होकर चन्दनबाला विमान में बैठकर भगवान महावीर के समवसरण में पहुंची। प्रभु मैं आपके चरणों में आई हूँ मुझे दीक्षा प्रदान कर मेरा उद्धार कीजिये। SMA रा INI.STAN इस समवसरण में चन्दनबाला सहित सैंकड़ों महिलाओं तथा इन्द्रभूति आदि अनेक विद्वानों ने प्रभु के चरणों में दीक्षा ग्रहण की। भगवान ने चार तीर्थ की स्थापना की। चन्दनबाला भगवान महावीर के श्रमणी संघ की नायिका बनी और संसार को नारी जाति के कल्याण का मार्ग दिखाया। समाप्त Jain Education International For Private 32.rsonal Use Only www.jainelibrary.co

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