Book Title: Deepratnasagarji ki 585 Sahitya Krutiya ke 31 Folders ka Parichay
Author(s): Dipratnasagar, Deepratnasagar
Publisher: Dipratnasagar, Deepratnasagar

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Page 23
________________ नमो नमो निम्मलदसणस्स वाचार्यसूत्रणा el Folder - 20 तत्त्वात्यास साहित्यprinti कुल किताबें 913 कुल पृष्ठ 2089 भाषा- गुजराती, हिन्दी, संस्कृत, प्राकृत, इंग्लिश अधिगम *અભિનવ ટીકા easમુનિદીપરત્ન સાગર तत्त्वार्थसूत्र प्रबोधटीका अध्याय-1, तत्त्वार्थाधिगमसूत्र अभिनवटीका अध्याय 1-10, तत्त्वार्थसूत्रना आगम-आधार-स्थानो, [13] तत्त्वार्थसूत्र के 84 प्रकाशनों का संपुट [1] तत्त्वार्थसूत्र प्रबोधटीका:- इस किताब में सिर्फ अध्याय-1 का दशांगी विवरण है [2] तत्त्वार्थाधिगमसूत्र अभिनवटीका:- इसमें प्रत्येक अध्याय की अलग-अलग किताब बनाकर 10 पुस्तकों में 10 अध्याय print किए है । इन दश भागोंमें तत्त्वार्थसूत्र का अति विस्तृत विवेचन है, जिसमें सूत्र-हेतु, मूलसूत्र, सूत्र-पृथक्, सूत्रार्थ, शब्दज्ञान, अनुवृत्ति, अभिनवटीका, सूत्र-संदर्भ, सूत्र-पद्य, सूत्र-निष्कर्षः ये दश विभाग है प्रत्येक अध्याय के अंतमें सूत्र-क्रम, अ-कारादि-क्रम, श्वेतांबर-दिगंबर पाठभेदादि परिशिष्ठ है और दशवें अध्याय के अंतमें शब्दसूची और विषयसूची दिए है | [3] तत्त्वार्थसूत्रना आगमआधारस्थानो' संशोधन कक्षा की इस किताब में तत्त्वार्थ के सभी सूत्रका मूल-आगम संदर्भपाठ और संदर्भस्थल निर्देश है, श्वेतांबर-दिगंबर पाठभेद तालिका है | इसकी मदद से तत्त्वार्थसूत्र के किसी भी सूत्र का आगमपाठ खोज शकते है 'तत्त्वार्थसूत्र के 84 प्रकाशनों का संपुट' ये 13 पेज की एक पुस्तिका है । जिसमें हमारी बनाई हुई 'तत्त्वार्थसूत्र' संबंधी DVD का परिचय है, फिर भी अगर कोई इस पुस्तिका को संदर्भ समझ कर उपयोग करे तो www.jainelibrary.org की मदद से 72 बुक्स और 12 Articles को पढ़ शकते है | इस DVD में गुजराती, हिन्दी इंग्लिश, संस्कृत और अन्य-भाषामें श्वेतांबर, दिगंबर और अन्यकर्तृक कृतियाँ है, जिसमें मूलतत्त्वार्थसूत्र, सूत्र का अर्थ, सूत्र पर किया गया विवेचन, सूत्र के संबंधमें हुए अन्य सर्जन प्राप्त होते है | इस डीवीडी में हमने तत्त्वार्थ सूत्र के 84 प्रकाशनो के 27930 पेजका संकलन किया है | समग्र विश्व में ऐसा और कोई संकलन नहीं मिलेगा | मुनि दीपरत्नसागर Muni DeepratnaSagar's 585 Books [1,03,130 Pages Mobile: +91-9825967397 Email: jainmunideepratnasagar@gmail.com ____दीपरत्नसागर की 585 साहित्य..... Page 23 of 36 [...कृतियों के 31 फोल्डर्स का परिचय

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