Book Title: Avashyak Niryukti Part 07
Author(s): Aryarakshitvijay
Publisher: Vijay Premsuri Sanskrit Pathshala

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Page 328
________________ नियुक्तिभाष्यादिश्लोकानां अकारादिक्रमः * ३१७ पुव्वभवजम्ममाम..... ॥१५२॥ | बहुरय जमालिपभवा.... ॥७७९॥| भरहमि अद्धमासो,.... ॥३४॥ पुव्वमदिट्ठमस्सुअम०..... ॥९३९॥ | बहुरय पएस अव्वत्त०.... ॥७७८॥| भरहसिल १ पणिअ २..... ॥९४०॥ पुव्वसयसहस्साइं पंच ..... ॥२८३॥ | बहुसालगसालवणे ..... ॥४८९॥ भरहसिल १ मिढ २ ..... ॥९४१॥ पुव्वाईआसु महा० ..... ॥८१०॥| बाढंति भाणिऊ०:... भा.५३॥| भरहस्सरू वकम्म८..... ॥भा. १४॥ पुव्वाणुपुव्वि न कमो ..... ॥१००८॥ | बाणउई चउहत्तरि.... ॥६५५॥ भरहो पसन्नचंदो ..... ॥११५१॥ पुट्वि उक्खित्ता ..... भा. ९८॥ | बारवइ अरहमित्ते ...... ॥१३०९॥| भरु यच्छंमि य...... ॥१३१७॥ पुचि कयाइ..... भा. २१॥ | बारवई वेयरणी ...... ॥१३०६॥| भरु यच्छेजिणदेवो..... ॥१३०५॥ पुस्से ९ पुणव्वसू १० ..... ॥३२८॥ | बारस चेव य वासा ..... ॥५३७॥| भवणवइवाणम०..... भा. ६४॥ पुहवी य वारुणी..... ॥६४८॥ | बारस वासे अहिए ...... ॥५३४॥ भवणवइवाणमं०...... भा.११५॥ पोअण १ बारवइ०..... ॥४०८॥] बारस सोलस.... ॥६५४॥ भवणवइवाणमंत०..... भा. ९०॥ पोराणयगयदप्पो ..... भा.२१२॥ | बारसंगो जिणक्खाओ ....॥९९७॥ भवणवइवाणमंतरजोइस० ॥३४६॥ पोसस्स पुण्णिमाए ..... २४८॥ | बारसविहे कसाए.... ॥११३॥ भवणवई जोइसिया .... ॥५६०॥ पोसस्स सुद्धछट्ठी...... ॥२४७॥ बालो अबाल०.... ॥भा.७३॥ भवसिद्धिओ उ..... ॥८१३॥ प्रणिपत्य जिनवरे..... . ॥१॥| बावीसं तित्थयरा ..... ॥१२४७॥| भाइयपुणाणियाणं ..... ॥५८५॥ बाहिरखित्तमि ...... ॥१२२३॥ भावसुअसद्दकरणे ..... ॥१०२६॥ फग्गुणबहुलिक्कारसि ..... ॥२४१॥ | बाहिरलंभे भज्जो..... ॥२॥ भावुगअभावुगाणि...... ॥१११५॥ फग्गुणबहुले एक्का०..... ॥३४०॥ बाहुबलिकोवकरणं ..... ॥३४९॥ भावे खओवसमिए.... ॥१०४॥ फग्गुणबहुले छट्ठी .... ॥२४४॥ | बिंदु य छीए य ....... ॥१३८१॥ | भावे पसत्थमियर..... ॥१४५१॥ : फड्डा य असंखिज्जा,.... ॥६०॥ | बिइयंमि होंति ...... ॥५६३॥ भावे सव्वोदइओ०.... भा.१८९।। फड्डा य आणुगामी,..... ॥१॥| बिइयकसायाणुदए... ॥१०९॥ भासग परित्त.... ॥१५॥ फासियं पालियं.... ॥१५९५॥| बोडियसिवभूईओ.... ॥भा. १४८॥ भासा असच्चमोसा ...... ॥१०९५॥ फिडियंमि अड्ढरत्ते..... ॥१३९६॥ [भ] भासासमसेढीओ.... ॥६॥ फुसइ अणते .... ॥९७६॥| भगवं अदीणमणसो.... ॥३१८॥ भिक्खायरियाइ..... ॥१४२६॥ - [ब] भद्रेण चरित्ताओ..... ॥११६०॥ भिन्नविसयं निसिद्धं...... ॥१२२८॥ बंधणसाड्भयाणं.... भा. १७१॥| भणइ अ आर्हिडिज्जा .... ७७०॥| भिसिणीपत्तेहिअरे...... ॥२००॥ बंभणगामे नंदोवनंद ..... ॥४७५॥ भणइ अधारेअव्वा.... ॥७७१॥ | भीमट्टहास हत्थी ..... ॥भा. ११२॥ बत्तीसदोसपरिसुद्धं ...... ॥१२१४॥ भणियं दसविहमेयं ..... ॥१५८२॥ भूआपरिणयविगए..... ॥१०२१॥ बद्धमबद्धं तु सुअं..... ॥१०२०॥| भत्तं वा पाणं वा ...... ॥११८६॥| भोगंमि चक्किमाई ७.....॥१०४४॥ बलदेववासुदेवा ..... ॥४०४॥ भत्तिविहवाणुरूपं ..... ॥५८२॥ भोगफलं बाहुबलं.... ॥१७८॥ बलिपविसणसमकालं .....॥५८६॥] भत्तीइ जिणवराणं ...... ॥१०९७॥ भोगसमत्थं णाउं..... भा. ७८॥ बहली अ जोणगा ..... ॥३३७॥ भत्तीइ जिणवराणं...... ॥१०९८॥ भोगसमत्थं नाउं..... ॥१९५॥ बहलीअडंबइल्लाजोणग....॥३३६॥ भत्ते पाणे सयणासणे...भा. २३६॥ | - [म] बहिआ य णाय०.... भा. १११॥ भद्द १ सुभद्दा २ ..... ॥४१०॥ मंखलि मंख सुभद्दा ..... ॥४७३॥ बहिधोयरद्धपक्के...... ॥१३५४॥ भदं च महाभई ..... ॥५३०॥ मंडियमोरियपुत्ते ..... ॥५९४॥ बहुमज्झदेसभागे ..... ॥९६३॥ भद्दिलपुर १० सीह०..... ॥३८३॥ मंदिरे अग्गिभूई .... ॥४४२॥ बहुयाण सद्दयं ...... भा.२१४॥| भरनित्थरणसमत्था ..... ॥९४३॥| मगसिरसुद्धिक्कारसि ..... ॥२५१॥

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