Book Title: Agam 04 Samavao Angsutt 04 Moolam
Author(s): Dipratnasagar, Deepratnasagar
Publisher: Agam Shrut Prakashan
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पइण्णग समवाओ
(१९५) इमीसे णं रमणप्पभाए पुढवीए वइरकंडस्स उरिल्लाओ चरिपंताओ लोहियखस्स कंडसम हेहिले चरिमंते एस णं तिणि जोयणसहस्साई अवाहाए अंतरे प. ११६।-116
(१९६) तिगिच्छ-केसरिदहा णं चत्तारि-(२)जोचणसहस्साई आयामेणं प. 1११७१ -117
(१९७) धरणितले मंदरस्स णं पब्वयस्स बहुमझदेसभाए रूयगनाभीओ चडदिसिं पंच-पंच जोयणसहस्साई अवाहाए मंदरपव्वए पन्नत्ते ।११८५-118
(१९८) सहस्सारे णं कप्पे छ विमाणावाससहस्सा पत्रत्ता ।११९।-119
(१९९) इमीसे णं रयणप्पमाए पुढचीए रयणरस कंडा उवरिल्लाओ चरिमंताओ पुलगस्स कंडस हेछिल्ले चरिमंते एस णं सत्त जोवणसहस्साई अवाहाए अंतरे प. १२०/-120
(२००) हारेवास-सम्मवा णं वासा अदु-अह जोयणसहस्साइं साइरेगाइं वित्थरेणं पत्रत्ता 1१२१। -121
(२०१) दाहिणड्ढभरहस्स णं जीवा पाईणपडीणायया दुहओ समुदं पुट्टा नच जोयणसहस्साइं आयामेणं पत्रत्ता ।१२२/- 122
(२०२) मंदरे णं पव्वए धरणितले दस जोयणसहस्साइं विखंभेणं पन्नते १२३।- 123 (२०३) जंबूदीवेणं दीवे एगंजोयणसहयसहस्सं आयामविस्खंभेणं पत्रत्ते ।१२४। -124 (२०४) लवणे णं समुद्दे दो जोयणसयसहस्साई चक्कवालविक्खंभेणं प.१२५/- 125
(२०५) पासस्स णं अरहओ तिणि सयसाहसीओ सत्तावीसं च सहस्साई उककोसिया साविया संपया होत्था ।१२६।- 126 (२०६) घायइसंडे णं दीवे चत्तारिजोयणसयसहस्साई चकवालविक्खंभेणं पन्नत्ता
११२७/- 127 (२०७) लवणस्स णं समुद्दस्स पुरथिमिल्लाओ चरिमंताओ पञ्चथिमिल्ले चरिपते एस णं पंच जोयणसयसहस्साई अवाहाए अंतरे पन्नत्ते ।१२८1-128
(२०८) मरहे णं राया चाउरंतचक्कवट्टी छ पुव्यसबसहस्साई रायमझावसित्ता मुंडे भविता अगाराओ अणगारियं पव्वइए ।१२९।- 129
(२०९) जंवूदीवस्स णं दीवस्स पुरथिमिल्लाओ वेइयंताओ धायसंडचक्कवालस्स पच्चस्थिपिल्ले चरिमंते एस णं सत्त जोयणसयसहस्साई अवाहाए अंतरे पत्रत्ते ।१३०।- 130
(२१०) महिंदे णं कप्पे अट्ठ विमाणावाससयसहस्साई पन्नत्ताई।१३१/-131 (२११) अजियरस णं अरहओ साइरेगाइं नव ओहिनाणिसहस्साई होत्था ।१३२१-132
(२१२) पुरिससीहे णं वासुदेवे दप्त वाससयसहस्साई सच्चाउयं पालइत्ता पंचमाए पुढवीए नरएसु नेरइयत्ताए उयक्ने ।१३३।- 133
(२१३) समणे भगवं महावीरे तित्थगरभवग्गहणाओ छटे पोट्टिलभवणहणे एवं वासकोडिं सामण्णपरियागं पाउणित्तां सहस्सारेकप्पे सवढेविमाणे देवत्ताए उववन्ने ।१३४।- 134
(२१४) उसभसिरिस्सा भगवओ पवरिमस्स य महावीरबद्धमाणस्स एगा सागरोयमकोडाकोडी अवाहाए अंतरे पत्रत्ते ।१३५1-135
(२१५) दुवालसंगे गणिपिङगे पत्रत्ते तं जहा-आयारे सूयगडे ठाणे समवाए विवाहपन्नत्ती नाया-धप्पकहाओ उवासगदसाओ अंतगडदसाओ अनुतरोववाइयदसाओ पण्हा
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