Book Title: Agam 01 Ang 01 Acharanga Sutra Stahanakvasi
Author(s): Madhukarmuni, Shreechand Surana, Shobhachad Bharilla
Publisher: Agam Prakashan Samiti
View full book text ________________ परिशिष्ट : 1 [विशिष्ट शब्द सूची] 461 सूत्र 741, 764 324, 342, 345, 602 746, 756, 756 754 मुगा 738 424, 568 738, 736 मुद्धि mr w 550, 742, 787, 522 542 357, 538 500, 685 541 340, 453 773 सूत्र शब्द मिसिमिसित 754 रत्त मिहुण 754 रम्म मीसज्जाय 318 रय (रजस) मुइंगसद्द 666 रयण मुड 733 रयणमाला मुगुदमह 337 रयणवास 655 रयणावली 342 रयणि मुणि 767, 802, 803 रयणी मुत्ताजलतरोयितं 754 रस मुत्तदाम 754 रसमंत मुत्तावली 424 रसवती मुत्ताहड 754 रसिय मुत्तीए 770 रह मुहियापाणग 373 रहजोग मुसं 780 रहस्सिय मुसावादी 526 रहोकम्म मुसावाय 780 राइण्णकुल्ल मुह 367, 416, 488 राईण मुहुत्त 766, 770,772 राओ मुहुत्तग 583, 568 राग मूल 417, 511, 651, 725 रातिणिय 384 राय (राजन्) 384 राय (रात्र) 665 रायधाणाणि मेरा 338, 474, 554, 586 रायपेसिय मे(म)रुपवडणट्ठाण 658 रायवंसट्टिय मेहुण 360, 425, 437, 786, 801 रायसंसारिय मेहणधम्म 340, 453 रायहाणी मोत्तिय 824, 740 मोय मोरग 456 रीरियपाय मोल्ल 753 रुक्ख मोसा 522, 524, 781 686 रुक्खगिह रज्जया 877,478 रक्खमह रतणिप्पमाणं 766 रुद्द मह 340, 430, 444, 456 760 508, 506 मूल जाय मूलबीय मूलगवच्च 338, 342, 361, 412, 465, 466, 502, 513, 514, 607, (टि०) 675 562 466, 504, 515, 516,543, 544, 772 504 मोहंत 337 Jain Education International For Private & Personal Use Only www.jainelibrary.org
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