Book Title: Sanskruti ke Do Pravah
Author(s): Mahapragna Acharya
Publisher: Jain Vishva Bharati
View full book text
________________
प्रयुक्त ग्रंथ-सूची
२५७ आवश्यक वत्ति (आगमोदय समिति)
वृ० मलयगिरि आवश्यक वृत्ति (आगमोदय समिति)
हरिभद्र उत्तरज्झयणाणि (भाग: १ सानुवाद) वाचना प्रमुख आचार्यश्री तुलसी (जैन श्वेताम्बर तेरापंथी महासभा, कलकत्ता, सन् १९६७) उत्तरज्झयणाणि (भाग : २ टिप्पण) वाचना प्रमुख आचार्य श्री तुलसी (जैन श्वेताम्बर तेरापंथी महासभा कलकत्ता, सन् १६६७) उत्तराध्ययन चणि (ऋषभदेव केशरीमल श्री श्वेताम्बर जिनदास महत्तर संस्था, इन्दौर, सं० १९८६) उत्तराध्ययन नियुक्ति (देवचन्द्र लालाभाई जैन भद्रबाहु स्वामी (द्वितीय) पुस्तकोद्धार भांडागार संस्था, सं० १९७२) उत्तराध्ययन बृहद् वृत्ति (देवचन्द्र लालभाई जैन वादीबेताल शान्तिसूरि पुस्तकोद्धार भांडागार संस्था, सं० १६७२) उत्तराध्ययन सूत्र (देवचन्द्र लालभाई जैन पुस्तकोद्धार
भांडागार सं० १९७२) उत्तराध्ययन सूत्र (सन् १९२२)
सं० डा० सरपेन्टियर उदान टीका
धम्मपाले उपदेशमाला (मास्टर उमेदचन्द रामचन्द, अहमदाबाद, धर्मदासगणि
सन् १९३३) उपासकदशा (जैन विश्व भारती, लाडन) उपासकाध्ययन (भारतीय ज्ञानपीठ, काशी, सन् १९६४) सोमदेव सूरि,
सं० अनु० कैलाशचन्द्र शास्त्री ऋग्वेद (स्वाध्याय मण्डल, पारडी, सन् १९५७)
सं० सातवलेकर ऋग्वेद संहिता (श्री परोपकारिणी सभा, अजमेर,
सं० २०१० पञ्चमावृत्ति) ऋषिभासित (इसिभासियाई)
अनु० सं० मुनि मनोहर (सुधर्मा ज्ञान मन्दिर, बम्बई, सन् १९५६) ऐतरेय आरण्यक (आनन्दाश्रम, पूना, सन् १९५६)
भा० सायण ऐतरेय उपनिषद् (गीता प्रेस, गोरखपुर, सं० २०१३) भा० शङ्कराचार्य ऐतरेय ब्राह्मण (अनन्तशयन सुन्दर विलास मुद्रणालय, सन् १९५२) ओघनियुक्ति (आगमोदय समिति, मेसाणा, सन् १९१९)
भद्रबाहु औपपातिक सूत्र (वृत्ति सहित) (पं० भूरालाल कालीदास, सं० १९६४)
वृ० अभयदेव सूरि
Jain Education International
For Private & Personal Use Only
www.jainelibrary.org
Page Navigation
1 ... 262 263 264 265 266 267 268 269 270 271 272 273 274