Book Title: Patanjali Yoga Sutra Part 05
Author(s): Osho
Publisher: Unknown

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Page 465
________________ यह प्रश्न प्रपति ने पूछा है। हां, मैं जानता हूं कि यह घटित होता है। इसको घटित होना ही है। यह गहन रूप से विचारणीय है; मैं चाहता हूं कि यह इसी प्रकार से घटित हो। जब तुम सुबह के प्रवचन में मुझको सुन रही होती हो तो मैं तुमसे व्यक्तिगत रूप से बात नहीं कर रहा होता हूं। मैं किसी व्यक्ति से व्यक्तिगत रूप से बात नहीं कर रहा है। मैं किसी विशेष व्यक्ति से बात नहीं कर रहा हं मैं बस बोल रहा है। निःसंदेह इसमें तुम सम्मिलित नहीं हो, तुम मात्र एक श्रोता हो। यदि मैं तुम्हारे सिरों पर प्रहार करता हूं तो भी सदैव तम यही सोच लेती हो कि यह दूसरों के लिए है, तुम सदैव बहाने खोज सकती हो : ओशो इसक दूसरों के लिए कर रहे हैं, और अच्छे ढंग से कर रहे हैं। तुम सदैव अपने आप को बाहर रख सकती हो। लेकिन प्रपति, संध्या के समय जब तुम दर्शन में आती हो तो मैं विशेष रूप से तुमसे ही बात कर रहा होता हूं। तब मैं तुम पर चोट करता हूँ और तुम इससे बच नहीं सकती। और मुझे पता है कि तुमको कई चोटों की आवश्यकता है, क्योंकि तुमको जगाने का कोई और उपाय नहीं है। जगाने वाले अलार्म को झकझोरने वाला और कठोर होना पड़ता है, और जिस समय तुम सोए रहना पसंद करोगी, अलार्म तुमको बाधा पहुंचाता है। वास्तव में, ठीक उन्हीं पलों में जब तुम असल में सोना चाहते थे, अचानक अलार्म बज उठता है। जब कभी मैं तुम्हारे मन में निद्रा का कोई अंश देखता हूं मुझको तुम्हारे ऊपर जोर से प्रहार करना पड़ता है। और निःसंदेह, दर्शन में तुम मेरा सामना कर रही होती हो, यह एक मुठभेड़ है, और तुम हताश अनुभव करती हो। यदि तुम समझ जाओ तो तुम परितृप्त अनुभव करोगी हताश नहीं, यदि तुम समझ जाओ तो तुम देख लोगी कि मैं क्यों तुम पर इतनी कठोरता से प्रहार कर तुम्हारा शत्रु नहीं हूं। यह करुणा के कारण होना चाहिए कि मैं तुम पर इतना जोर से प्रहार करता हूं। यदि तुम मुझको समझ सको तो तुम आभारी होगी कि मैंने तुम्हारे ऊपर चोट करने की चिंता की। मैं तुमको कुछ कहानियां सुनाता हूं : एक व्यक्ति एक बड़े स्टोर में गया और दैनिक उपयोग की कुछ वस्तुएं खरीदीं। जब वह भुगतान काउंटर खड़ा था तो उसने स्टोर सहायक के पैर पर लात मार दी। फिर उसने क्षमायाचना की, महोदय, मुझको अपनी इस हरकत पर बेहद शर्म और खेद है। यह मेरी एक गलत आदत है। तो आप इसके बारे में किसी चिकित्सक से संपर्क क्यों नहीं करते? स्टोर सहायक ने पूछा। अगली बार वह जल्दी ही स्टोर में सामान खरीदने आया। इस बार ऐसा कुछ नहीं हुआ। मुझको लगता है कि आप ठीक हो गए हैं, सहायक ने कहा, क्या आप मनोचिकित्सक के पास गए मैं गया था, उस व्यक्ति ने कहा।

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