Book Title: Multan Digambar Jain Samaj Itihas ke Alok me
Author(s): Kasturchand Kasliwal
Publisher: Multan Digambar Jain Samaj

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Page 224
________________ गोलेछा परिवार गोछा परिवार मुलतान डेरागाजीखान मे प्राचीन परिवारो मे से है । परशराम गोलेछा के श्री देवीदास, ढालूराम, रेमलदास, मूलचन्द एव गेलाराम 5 पुल थे 1 गया है । 1 देवीदासजी शम्भुराम, दासूराम, सुखानन्द तीन पुत्र थे । 2 ढालूराम कोई सन्तान नही थी अत उन्होने उत्तमचन्द सिगवी को गोद लिया 3 रेमलदास होतूराम, भूराराम दो थे । पुत्र 4 मूलचन्द भजनदास एव लालचन्द । 5 गेलाराम चेतनदास एव धनेन्द्रकुमार । इन सबके परिवारो का परिचय जयपुर एव दिल्ली खण्ड मे अलग अलग दिया (1) शम्भुरामजी शम्भुरामजी देवीदासजी के प्रथम पुत्र थे । उनकी युवावस्था मे मृत्यु हो गई थी । उनकी मात्र कस्तूरी देवी एक पुत्रो थी जो डेरागाजीखान मे गिरधारी लाल पुत्र श्री करम चन्द सिंगवी को व्याही गई थी । आप समाज के कर्मठ कार्यकर्त्ता थे । धार्मिक कार्यों मे आपकी बहुत रुचि थी । (2) दासूरामजी दासूरामजी के परिवार का विवरण जयपुर खण्ड मे दिया गया है । (3) श्री सुखानन्दजी सुखानन्दजी श्री देवीदासजी के तीसरे पुत्र हैं । आप बहुत बुद्धिमान एव प्रतिभाशाली व्यक्ति थे । आपका जन्म एक समृद्ध परिवार मे हुआ था । आप अपने पिता एव वड़े भाई शम्भुराम की तरह समाज प्रमुख व्यक्तियो मे से थे । समाज की प्रत्येक गतिविधियो मे आपका प्रमुख हाथ रहता था । आप संस्कृत के अच्छे विद्वान थे । मुलतान की गौशाला आदि जैसी कई सस्थाओं के क्रियाशील सदस्य एव पदाधिकारी थे । आप धर्मज्ञ भी थे। शहर से बाहर बगीचे के नाम से एक फार्म बना रखा था जहा पर आपने भवन एव चिकित्सालय भी बनवाया था जिसमे समय-समय पर व्रती आदि भी आकर रहते थे । उस चैत्यालय के लिये 180 1 1 मुलतान दिगम्बर जैन समाज - इतिहास के आलोक मे


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