Book Title: Kuvalaymala Kaha Ka Sanskritik Adhyayan
Author(s): Prem Suman Jain
Publisher: Prakrit Jain Shastra evam Ahimsa Shodh Samsthan

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Page 467
________________ शब्दानुक्रमणिका . कर्णफूल १५७, १५६, १६२ कर्पूर १६० कर्णव्याधि १७२ कर्णाट ११५ कर्णाटक ५२, ११३, १९५, २४४ कर्णाभूषण १७६, ३२२ कर्तरी १६८ कर्नाट ६५, २५१, २५७ कर्पटिका १०८ कर्पूर ३२०, ३२२ कर्पूरमंजरी ५३, ३४७ कर्मकरों १८६ कर्म ३७६ कर्मकाण्डी ३६६ कर्मकारों ७१३ कर्मपुराण ३६६ कर्मफल ३६६ कर्वट ६५ कर्ष १९६, १६७, २०० कर्षापण १५५ कवडग १६६ कवि २६४ कविकल्प २४८ कव्वड ६६ कलकत्ता २६२ कलया २३६ कलवर्धना ३१८ कलश १३०, ७४० कला २१८, २४६, ३१६ ७२ कलाओं २३१ कलाग्रहण २२८ कलाचार्य ३०६ कलाविलास २३१ कल्पद्रुमकोश ३५७ कल्पसूत्र २१८, २३२ कल्याणकारीकेन्द्र ३१० कल्हण ४५ कष्ट-क्रिया २२१ कश्मीर ४५ कस १६८, १६६ कसि २५८ कसिणपच्छायण १३६, १४१ ।। कसिणायार १२६ कांगडा ५३ कांचनरथ २६ काँची २३, ६४, १५७, १६०, १६१, १६.२, २१४, २१६, ३०७ : कांचीदाम १६० कांचीनगरी ७६ कांचीपुरो ५७, ६४, ८२, २१७ कांजीवरम् ६४ कांडक ३८६ काँवर १५६, ३६८ कांसधातु २६३ कांसा २२०, २२१ काकन ६४ फाकन्दी ६३, ६४, ६६, ७३, ७६, २१.७ काकन्दीनगरी २६ काकबलि ३५८, ३५६ काकिणी १६४ काठियावाड़ ६१, ६७, ८१, २०६ .. काणे (प्रो० ) ३६६ कात्यायनी १८२, ३४४, ३५०, ३५०, ३५५, ३५६, ३५७, ३६६ कादम्बरी १६, ३६, ४३, ८४, १४६, १८१, २१०, २११, २८७, ३१२, ३१८, ३१९, ३२०. ३२५, ३२६, ३२७, ३३१, ३३२ कान्यकुब्ज ५३ कापणिया ११२

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