Book Title: Avashyaksutra Niryuktirev Curni Part_2
Author(s): Haribhadrasuri, Gyansagarsuri, Bhadrabahuswami, 
Publisher: Devchand Lalbhai Pustakoddhar Fund

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Page 9
________________ शुद्धिपत्रकम् आवश्यकनियुक्ते शुद्धि पृष्ठम् पंक्तिः अशुद्धम् १ ३ ०युत १ ४ सूत्रावचूर्णि: ५३ पत्रकम् रवचूर्णिः १३ १२ २४८ शुद्धम् युत सूत्रनिर्युक्तेरवचूर्णि: उर्व रागादिमत्व० प्रमाणं दृष्टपूर्वे सङ्कल्पः •कर्तकं चारित्रेणैव प्रसिद्धि रिंगियं संपिडिय पृष्ठम् पंक्तिः अशुद्धम् क्षमाणा ६७४ उक्को ७२७ सानमिति श्लादि, अनयों नवा० शास्वतं सचं ९३१ सर्व कानियुक्तिः रागादिमत्व० प्रमाण दृष्टपूर्व सडकल्प: ०कतृक चारित्रणव प्रसिधि. रिगिय संपिडिय सई शुद्धम् क्षामणा डक्को सायमिति शूलादि, अना नवाततनुवा० शाश्वतं सव्व सर्व० कानियुक्ति: (काविधि) २७ २१ ०मध्यजघ० माक्षेत्र मध्यमजघ माईक्षेत्रे ९९ १३ Jain Education International For Private & Personel Use Only www.jainelibrary.org

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