Book Title: Acharanga Sutra Satikam Part 02
Author(s): Jinendrasuri, 
Publisher: Harshpushpamrut Jain Granthmala

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Page 7
________________ ॥ ७ ॥ *❖❖❖❖❖❖❖❖❖❖❖❖❖❖❖❖❖❖❖❖❖❖❖❖· सादर वंदना सह समर्पण परम पूज्य तपोनिधि पू० पं० श्री मणिविजयजी दादाना शिष्यरत्न शासनशिरोमणि पू० पाद पं० श्री बुद्धिविजयजी ( बुटेरावजी ) गणिवरना शिष्यरत्न निस्पृही शिरोमणि पू० पं० श्री आणंदविययजी गणिवरना शिष्यरत्न मुनिगण सरदार पू० मुनिराज श्री हर्षविजयजी महाराजना शिष्यरत्न कलिकाले उग्रतपःकारक पू० आचार्यदेव श्री विजयकर्पूरसूरीश्वरजी महाराजना पट्टधर हालारदेशोद्धारक कविरत्न पू० आचार्यदेव श्री विजयामृतसूरीश्वरजी महाराजाने अगणित उपकारोनी पुण्य स्मृति रूपे सादर वंदना सह समर्पण -- जिनेन्द्रविजय ******** **** ॥७॥

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