Book Title: Abhidharmadipa with Vibhasaprabha Vrutti
Author(s): P S Jaini
Publisher: Kashi Prasad Jayaswal Research Institute
________________ 486 5. ग्रन्थगतसंस्कृतशब्दसूची। वैराग्य-तत्प्रथमता 366; प्रयोग 326; शासन 197, 208; सम्भेद 101; स्थिति 101 - भावना 203 n.; लभ्य 93. शास्तृ 403 वैरूप्य 38 n. शास्त्रलक्षण वैश्वरूप्य 37 शिक्षा 350; त्रय 196; निक्षेपण 232 वैशारद्य 125, 207, 389, 390; द्वय 3 शिक्षापद (पञ्च) 123 n, 127, 194; व्यञ्जन-काय 109 n., 113; पर्याय 109 - क्षोभ 128. व्यन्तर 328 शिरोलुञ्चन 158 n., 159 . व्यवकिरण 346 शिष्य . 126, 403 व्यवकीर्णभावित 381 शीतलिका 212 व्यवकीर्णविपाक 146 शील 152, 216, 231, 366-7, पारमिता व्यवदान 45, 47, 78, 363, 384 194-5; मय 216; सम्पत् 123; व्यवहार 131, 363 स्वन्ध 9, 372. व्यापाद 164, 175, 175, 302; वितर्क शीलव्रतपरामर्श 42, 228, 231-3, - 311. (द्विदर्शनहेय) 234, 235, 295, व्याकरण 203; (चत्वारि) 259 302.5; शीलवतीपादान 300... व्यायाम 372 शुक्ल 145; अपदेश 197; धर्म 407; व्युत्क्रान्तकसमापत्ति 97, 415, 419 विपाक 145. व्युत्थानचित्त - 231 231 शुचिसंज्ञा - 316 218 शुद्धक 406-7, 419; ध्यान 401, 418, शक्र शक्ति 171 n., 272, 281; मात्र 273; 422. विशेष 170; हानि 106. शुद्धावास 116 n., 347, उपपत्ति 339; शण्ढ 136 भूमि 346.. शब्द 26, 108-113; गुण 112; शुभकृत्स्न 43, 63, 107-8, 117 वाच्य 111; भेदसंचय 109; विद्या शून्य 206 n., 234, 254, 270, 319; अधिष्ठित 270; आकार 320, 329; शमथ 355, 404, 411; चरित 339 n.; * संज्ञा 372. . बल 186; स्निग्धसन्तान 228. शून्यता 239, 276, 320; दर्शन 331n, शमनियामक 321 लक्षण 254 n, समाधि 413, शून्यता शरण 127; त्रय 126; गमन 123 n., 424-5. 126 n., 127; गमनेच्छा 125 शृङ्गी शरीरप्रमाण 117 n. शोभा 38 शरीरवाहिनी गति 400 शैक्ष 23, 61, 89, 352-3, 366, 421; शाठ्य 75, 84, 150, 307, 311 अशैक्ष 366; अष्टादश 126, 349 n, शाश्वत 126, 254, 256n; ग्राह 295; 367; गुण 367; दृष्टि 30, 398; दृष्टि 93, 235, 239; धर्म 414. धर्म 180; मार्ग 354. . 431 शुक्रदैवत्य 394 n.
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