Book Title: Vyakhyapragnaptisutram Part 03
Author(s): Divyakirtivijay
Publisher: Shripalnagar Jain Shwetambar Murtipujak Derasar Trust

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Page 12
________________ | क्रमः विषयः सूत्रम् पृष्ठ: / क्रमः विषयः सूत्रम् पृष्ठः श्रीभगवत्यङ्गं श्रीअभय वृत्तियुतम् भाग-३ // 2 // श्रीभगवत्यङ्गसूत्रस्य विषयानुक्रमः 1 को .. . वा .. 572 572 कर्मप्रकृतिः-वेदावेदादि: अर्शच्छेदे क्रिया। 570-571 [[16.4] चतुर्थोद्देशकः / *1 अन्नग्लायकचतुर्थादिभिः कर्मक्षयः। 572 [16.5] पञ्चमोद्देशकः / 573-576 1 शक्रस्याष्टोक्षिप्त प्रश्ना:-परिणममाणाः परिणता:-गङ्गदत्तकृतवन्दनादि: गङ्गदत्तपूर्वभवादिः। 573-576 [16.6] षष्ठोद्देशकः / 577-581 1 सुप्तादिदृश्यस्वप्नभेदाः संवृतादीनां सत्यस्वप्नतादि 72 स्वप्नाःवीरदृष्टाः स्वप्नाः। 577-579 सिद्धिदाः स्वप्नाः घ्राणसहगतपुद्गलवातं। 580-581 / [16.7) सप्तमोद्देशकः / 582 1 उपयोगपश्यत्ते। 582 [16.8] अष्टमोद्देशकः। 583-586 लोकमहत्ता चरमान्तादौ 1167-1169 जीवाजीवदेशादिः-परमाणोर्गमनसामर्थ्य११७०-११७२ वृष्टौ हस्ताद्याकुञ्चनादिक्रिया: अलोकेऽनाकुञ्चनादिः / 583-586 1187-1192 1170-1172 [16.9] नवमोद्देशकः / / 587 1193-1195 1173-19771 बलेर्वक्तव्यता / 587 1193-1194 [16.10] दशमोद्देशकः / 588 1195-1996 1 अवधिः / 588 1195 1173-1177 / | [16.11-14] एकादशोद्देशकत११७८-१९८५ चतुर्दशोद्देशकः / 1996 द्विपोदधिदिक्स्तनितकुमाराः / 589 1196 [17] सप्तदशं शतकम्। 590-615 1198-1217 1178-1180 / [17.1] प्रथमोद्देशकः / 590-593 1198-1202 1. उदायिभूतानन्दौ तालादिप्रचालनादौ क्रियाः शरीरादिभ्यः 1182-1984 क्रिया: भावाः। 590-593 1198-1202 1185-1186 - [17.2] द्वितीयोद्देशकः / 594-597 1202-1207 1185 धर्माधर्मस्थितता-बलत्वादी जीवजीवात्मनोश्चान्यमतं 1987-1193 रूप्यरूप्यताभवनं / 594-597 1202-1205 // 2 //

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