Book Title: Trishashti Shalaka Purush Charitra Parv 1 2
Author(s): Krushnalal Varma
Publisher: Godiji Jain Temple Mumbai

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Page 857
________________ कोश [३५ ब्राह्मणों की उत्पत्ति ४५६ युगशमिला न्याय ५१६ बीस स्थानक १०६ . . रत्नत्रय २६ भगवान ऋषभदेवकी संतान राक्षसवंश ७२३ (दे० टि००) रुचक प्रदेश ६४२ भगीरथ ७४० लन्धि १०० भवनपति देवं ६४४ लवण समुद्र ६५४ भावना ३२, ४०, ६३२ लिपि (दे० टि० न०६) मंगला १७४ लेश्या ६७१ मतः४२ . वर्षावर्णन १७ मत्स्यगलागलन्याय २१३ वसंतवर्णन २०६ मनुष्यलोक ६५६. . वार्षिक दान २१५, ६१२ महाव्रत-यतिधर्म २७२ । वासुदेव ४६६ मांगलिक अग्नि ७४६ विनीता नगरी १६८ माधुकरी ६३, २५३ विपाकविचय (धर्मध्यान) मानुषोत्तर पर्वत ६५८ ६३६ ' मिथ्यात्व ६७६ विवाहप्रथा २०४ • मूलगुण--पाँच महावत या वृक्षदोहद २६५, ६३७ . अणुव्रत व्यंतर ६४५ मेरुपर्वत ६४८ व्रत २७२ म्लेच्छ ६६० शत्रुजय ४७६ यक्षकर्दम-केसर, . अगर, शाश्वत जिनपिंय ४६१ चंदन, कपूर और कस्तूरी शिक्षाबत ३०, २७४ का समभाग मिश्रण। शील ३० यज्ञोपवीत ४५८ शीलांग १८ हजार(दे०दि.१०) युगलिया ३४ शुक्ल ध्यान (दे० टिन०६)

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