Book Title: Tali Ek Hath Se Bajti Rahi
Author(s): Moolchand Jain
Publisher: Acharya Dharmshrut Granthmala

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Page 34
________________ पापा जी। समयसार क्या होता पापाजी! आप क्या पढ़ रहे मन्जू और मुकेश बच्चों को क्या पदना चाहिए बेटा। समयसार द्रव्यानुयोग का ग्रन्थ है तुम नहीं समझोगे। हैं? बेटा। मैं समयसार पद रहा हूँ। बेटा! तो हमारी समझ में क्या आएगा? पहले प्रथमानुयोग पढ़ो। पापाजी! प्रथमानुयोग क्या बेटा । जिसमें महापुरुषों के जीवन चरित्र का वर्णन है, वही प्रथमानुयोग है। KinsRBh नमस्ते चाचाजी!हाँ देखो! कितना सरल तब तो पापाजी देवो यह जैन उपाय प्रथमानुयोग आप भी इसे कॉमिक्स हमारे समझाने का। मँगवाइये ना पापा लाये है। हाँ बेटा। आज ही मनिमार्डर किये देता

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