Book Title: Siddhachakra Aradhan Keshariyaji Mahatirth
Author(s): Jitratnasagar, Chandraratnasagar
Publisher: Ratnasagar Prakashan Nidhi
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उज्जैन : जैन समाज
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उज्जैन शहर में जैन समाज की आबादी लगभग २० हजार हैं । इनमें श्वेताम्वर, दिगम्बर, स्थानक वासी तेरापंथीं आदि सभी सम्प्रदाय के अनुयायी हैं। लगभग १० हजार व्यक्ति श्वेताम्बर मूर्तिपूजक समुदाय के होगें ।
जाति की दृष्टि से देखें तो सर्वाधिक जनसंख्या ओसवाल जाति की है। इसके अतिरिक्त पोरवाल, भटेवरा, गुजराती, कच्छी, अग्रवाल व खण्डेलवाल, मोढ़ जाति के महाजन भी जैन धर्म के अनुयायी है।
उज्जैन शहर के मध्य भाग में सराफा, बटनी बाजार, नमकमण्डी दौलतगंज मोहल्ले में जैन आबादी अधिक है । नयापुरा व फ्रीगंज क्षेत्र में भी जैन लोग बड़ी संख्या में रहते हैं। वैसे उज्जैन के प्रत्येक मोहल्ले में दो-चार घर जैन परिवार के अवश्य मिल जावेगें । विगत वर्षों में बढ़ते हुए नगर में कॉलोनीयों का अधिक विकास हुआ है। अब प्रत्येक कॉलोनी में जैन परिवार रसने लगे हैं ।
उज्जैन शहर में रहने वाले जैनों में साक्षरता का प्रतिशात ६०% अधिक है। जैन समाज एक व्यापारिक समाज रहा है। आज भी उज्जैन के व्यापार जगत में जैन अग्रणी हैं। सोना चाँदी बाजार वस्त्र बाजार व अनाज बाजार के क्षेत्र में जेन व्यापारियों की संख्या अधिक हैं। साथ ही इन्हें विशेष सम्मान की प्राप्त है।
सामाजिक राजनैतिक एवं धार्मिक गतिविधियों में जैन समाज के लोग अग्रणी हैं। उज्जैन के लोगों को भारत भर में उच्च स्थान तक पहुंचने का गौरव प्राप्त हुआ है। पूर्व केन्द्रय गृह मंत्री माननीय श्रीप्रका शचन्द्रजी सेठी का गृह नगर उज्जैन ही रहा है। मध्य प्रदेश के पूर्व उद्योग मंत्री राजेन्द्र जैन का गृह नगर उज्जैव ही रहा है।
ओद्योगिक क्षेत्र में लालाचंदजी सेठी का नाम उज्जैन से ही आगे बढ़ा है।
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