Book Title: Sagarmal Jain Vyaktitva evam Krutitva
Author(s): Jain Samaj Shajapur MP
Publisher: Jain Samaj Shajapur MP

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Page 18
________________ ग्रन्थ-प्रणयन Jain Education International For Private & Personal Use Only क्रमांक पुस्तक का नाम 1. जैन, बौद्ध और गीता के आचार दर्शनों का तुलनात्मक अध्ययन, भाग -1 2. जैन, बौद्ध और गीता के आचार दर्शनों का तुलनात्मक अध्ययन, भाग -2 3. जैन, बौद्ध और गीता का समाज दर्शन 4. जैन, बौद्ध और गीता का साधना मार्ग 5. जैनकर्म सिद्धान्त का तुलनात्मक अध्ययन 6. धर्म का मर्म 7. अर्हत् पार्श्व और उनकी परम्परा 8. ऋषिभाषित : एक अध्ययन 9. जैन भाषा दर्शन 10. जैनधर्म का एक विलुप्त सम्प्रदाय : यापनीय 11. तत्त्वार्थसूत्र और उसकी परम्परा 12. अनेकान्त, स्यादवाद और सप्तभंगी 13. Doctoral Dissertations in Jainism and Buddhism (With Dr. A.P. Singh) प्रकाशक राजस्थान प्राकृत भारती संस्थान, जयपुर 1982 राजस्थान प्राकृत भारती संस्थान, जयपुर 1982 राजस्थान प्राकृत भारती संस्थान, जयपुर 1982 राजस्थान प्राकृत भारती संस्थान, जयपुर 1982 राजस्थान प्राकृत भारती संस्थान, जयपुर 1982 पार्श्वनाथ विद्याश्रम शोध संस्थान, वाराणसी 1986 पार्श्वनाथ विद्याश्रम शोध संस्थान, वाराणसी 1988 राजस्थान प्राकृत भारती संस्थान, जयपुर 1988 भोगीलाल लहेरचन्द भारतीय संस्कृति मन्दिर, दिल्ली-पाटण 1986 N पार्श्वनाथ विद्याश्रम शोध संस्थान, वाराणसी, 1994 पार्श्वनाथ विद्याश्रम शोध संस्थान, वाराणसी 1994 पार्श्वनाथ विद्याश्रम शोध संस्थान, वाराणसी 1990 पार्श्वनाथ विद्याश्रम शोध संस्थान, 1983 www.jainelibrary.org

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