Book Title: Mantra Mahodadhi Granth
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Page 536
________________ Shri Mahavir Jain Aradhana Kendra www.kobatirth.org Acharya Shri Kailassagarsuri Gyanmandir काश. // 237 दिलस्वरस्स्मृतः // 11 // लादृषीकेशोहरस्सूक्ष्मोवामगण्डकुबेरदृक् // अर्द्धचोनीलचरणोलकारश्च विकूटकः॥१२॥ ए॥झिंटीशःपद्मनाभश्चशक्तिस्सूक्ष्मामृताभगः॥ ऊर्दोष्ठग:कामरूपएकारश्चत्रिको णकः॥ 13 // ऐ॥ज्ञानामृतोभौतिकश्चाधरोदामोदरस्तथा // वागीशोवर्मभयदऐकारस्त्रिपुरस्तथा // ॥१॥ओसद्योजातोवासुदेवऊर्ध्वदन्तस्त्रिमात्रकः॥आप्यायनीमन्त्रनाथओकारोनागसंज्ञकः // 16 // औ|संकर्षणोनुग्रहशोमुरारियापिनीतथा // अथोदंतगतोमायीनृसिंहांगस्तथौरसः॥१६॥॥अंकूरो व्योमरूपश्चप्रद्युम्नश्चन्द्रसंज्ञकः।अनुस्वारस्तथाबिन्दुरंकारश्चशिरोव्ययः॥१७॥अनन्तश्चमहासेनोऽ निरुद्धोरसवर्णकः // कन्यास्तननिभस्सर्गोविसर्गश्चांतिमस्स्वरः // 18 // कक्रोधीशोधातृसंज्ञश्चक्री सृष्टिश्चकरादिगः // वर्गादिगपादवेषःककार कामगस्स्मृतः // 19 // खदिगदिचण्डीशा खेटो दक्षिणकूर्परः // कैटभारिश्चमातंगःसंहारःखार्णकःस्मृतः॥२०॥ ग॥स्मृतिःपंचांतकश्शाीगणेशोम णिबन्धगः // गोमुखोगजकुंभश्चगकारःसिंहसंज्ञकः // 21 // ॥खड्गीशिवोत्तमोमेधादक्षिणाङ्गुलिमूल For Private and Personal Use Only

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