Book Title: Lokashaha ki Hundi
Author(s): 
Publisher: ZZZ Unknown

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Page 402
________________ कहा लगे ऊमानाधिति जन्मादियजीवनो उत्तर: बारसेवj | हो सेविया दिया । बेइंदिया आतितो७२ का लमु कोसे नंतर इंडियनी कातेयनी कायल 33 कालो उसकी मा तमु धन्य तो एत लोकांतर २वर धन्यशेतकरेद्रियमाहिर हर तकल इंडियन वादिक जीवन प्रणतकालय तो हुबेई दियजीवा करसका संस्थानाच्यादिशथका । विज्ञान प्रकारने दिल तो दिय काय विशेतं काय उच्च हरो एकता कि रेलवे जनबोली काया वनस्पती माहिजा काल-अंतर में में दिवजीवनावर चेरपदप्रणी एविल उंचेवर कासवाला देस वा विविहालाई संतरेयवियादि 11/04/ सहस्रमे पर्या पति के वा ते इंद्रियजेसे सारक जीवांकरितक छाती करें तेद्क पूर्ण माना जाय ते नावेद्सोन लौ प्रशिक सहरसा सोपाने इंदियानी वा विद्यतेय कित्तिया । युत्तम यज्ञा ( ते सिले एमुले हो ॐ पानी जाति की विकलियानाने देते चल हार का ष्ट रहते इंद्रिय मालुकाः यत्तहार का रहते इंडिय का जातिविशे #इंडियजावविशेष जीव जीवरुममा बा 35. का की 22 स क क ि२०१ पिपिलिउ साउक उद्देदिया तदा तिलदारकदारामा लुगा पसारा तिमि एली करू तितो सजग गुरु सदावते इंद्रियविशेषज्रं काय ते डिजीब लोक का का षटपदीनी जातिजोलदी अबक तर प्यास हिमाय लिंगास मंगा (सदावरीमा दोधरा दमाइया गीता ३८ गोला नेहच्यादिदेऽनै दो वगमाया

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