Book Title: Jinduttasuri ka Jain Dharma evam Sahitya me Yogdan
Author(s): Smitpragnashreeji
Publisher: Vichakshan Prakashan Trust

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Page 15
________________ प्रकरण ४. आचार्य जिनदत्तसूरिजी की साहित्य - साधना आचार्यश्री जिनदत्तसूरिजी रचित कृतियाँ (अ) संस्कृत कृतियाँ (पृ. ६८-७८) अजितशान्ति स्तोत्र १) २) चक्रेश्वरी स्तोत्र ३) सर्वजनस्तुति ४) वीरस्तुति विंशिका पदव्यवस्था (ब) ६) प्राकृत कृतियाँ (पृ. ७८-१५५) १) गणधर सार्द्धशतक २) सुगुरु- संथव-सत्तरिया ३) सर्वाधिष्ठायी स्तोत्र ४) सुगुरु पारतन्त्र्य स्तोत्र ५) विघ्नविनाशी स्तोत्र ६) ७) ८) ९) १०) ११) १२) १३) १४) १५) Jain Education International श्रुतस्तव सप्रभाव स्तोत्र पार्श्वनाश मंत्रगर्भित स्तोत्र चैत्यवंदन कुलक संदेह दोलावली उत्सूत्रपदोद्घाटन कुलक उपदेश कुलक शान्तिपर्व विधि वाडिकुलक आरात्रिक वृत्तानि XIV For Private & Personal Use Only पृ. ६६-२११ www.jainelibrary.org

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