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प्राप्ति स्वीकार :
पद्मावती आदि शासन देवों, होम, हवन, मंत्र, तंत्र सम्बन्धी मिथ्यात्व : लेखक faceाल सेठी | प्रकाशक - जैन संस्कृति संरक्षण समिति, 8- अरविंद पार्क, टोंक फाटक, जयपुर-302015 | पृष्ठ संख्या -24 | साइज - 20 " x 30 " / 16 । मूल्य- 00.80 रु० । द्वितीयावृत्ति परिवर्धित |
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समालोच्य पुस्तक उसी श्रृङ्खला की द्वितीय कड़ी है। जैसाकि इसके नाम से ही प्रकट है इसमें मोक्षमार्ग की द्वितीय श्रेणी सम्यग्ज्ञान का वर्णन है । लेखक ने इसके लेखन में भी प्रथम खण्ड की भाँति ही पर्याप्त श्रम किया है और फलस्वरूप सम्यक् और मिथ्या दोनों ज्ञानों के सम्बन्ध में प्राय: सम्पूर्ण जानकारी का समावेश इसमें हो गया है यथा- पात्रभेद से ज्ञान के भेद, मिथ्याज्ञान का विस्तार, चार अनुयोग, सम्यग्ज्ञान के आठ अंग, सम्यग्ज्ञान के भेद-प्रभेद, द्वादशांग श्रुतज्ञान, नय, अवधि, मन:पर्यय और केवलज्ञान, ऋद्धियां, ध्यान आदि ।
जैन विद्या
पुस्तक मूलरूप में संस्कृत में है । साथ में उसकी स्वयं ग्रंथकार कृत हिन्दी टीका है जिसमें आवश्यकतानुसार मूल से हट कर भी विषय का विस्तार किया गया है जिससे पुस्तक की उपादेयता में वृद्धि ही हुई है ।
मुद्रण और गैट-अप आदि सुन्दर कलापूर्ण हैं । एक शब्द में प्रकाशन सर्वांग सुन्दर है जिसके लिए लेखक और प्रकाशक दोनों बधाई के पात्र हैं । विषय के जिज्ञासु पाठकों से अनुरोध है कि वे एक बार इसका अवलोकन अवश्य करें ।
हमारा इस
ग्रंथ प्रत्येक मंदिर पुस्तकालय आदि में संग्रहणीय है ।
आदर्श नित्य नियम पूजा : पद्यरचना - कविभूषण पृष्ठ संख्या-14 । साइज - 20 " x 30 / 16। संशोधित ।
श्रमृतलाल 'चंचल' । प्रकाशक - वही । मूल्य 00.50 रु० । द्वितीयावृत्ति
अरहंत प्रतिमा का अभिषेक जैनधर्मसम्मत नहीं है : लेखक- स्व० पं० बंशीधर शास्त्री । प्रकाशक- वही । पृष्ठ संख्या - 24 | साइज - 20 " x 30 " / 16 । मूल्य- 00.80 रु० । तृतीय संस्करण ।
जैन साधु कौन ? 20" x 30 "/16 | मूल्य - 1.00 रु० । प्रथम संस्करण ।
: लेखक - बिरधीलाल सेठी । प्रकाशक - वही । साइज -