Book Title: Jain Purano ka Sanskrutik Aavdan
Author(s): Pravinchandra Jain, Darbarilal Kothiya, Kasturchand Suman
Publisher: Jain Vidyasansthan Rajasthan

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Page 55
________________ ४६ : जैन पुराणकोश क्रमांक १५. नाम पुराण पाण्डव पु० परिशिष्ट सम्दर्भ पर्व इलोक संख्या १९४ नाम दुःकर्ण दुःश्रव वरवंश अवकीणं दीर्घदर्शी सुलोचन उपचित्र विचित्र चारुचित्र शरासन २१. २२. २३. २५. दुर्मद स्वर भेद १. षड्ज २. ऋषभ ३. गान्धार ४. मध्यम ५. पंचम ६. चैवत ७. निषाद पपु० १७.२७७ हपु० १९.१५३ षड्जग्राम की जातियाँ १. षाड्जी २. आषभी ३. युवती ४. निषादजा ५. सुषड्जा ६. उदोच्यवा ७. षड्जकैशिकी ८. षड्जमध्या हपु० १९.१७४-१७५ षड्जग्राम की मूच्र्छनाएँ १. उत्तरमन्द्रा २. रजनी ३. उत्तरायता ४. शुद्धिषड्जा ५. मत्सरीकृता ६. अश्वक्रान्ता ७. आभिरुद्गता हपु १९.१६१-१६२ मध्यमाधित जातियाँ १. गान्धारी २. मध्यमा ३. गान्धारोदीच्यवा ४. पंचमी ५. रक्तगान्धारी ६. रक्तपंचमी ७. मध्यमोदीच्यमा ८. नन्दयन्ती ९. कर्मारवी १०. आन्ध्री ११. कैशिकी हपु० १९.१७५-१७७ मध्यम ग्राम को मूच्र्छनाएं १. सौवीरी २. हरिणाश्चा ३. कलोपनता ४. शुद्धमध्यमा ५. मार्गवी ६. पौरवी ७. हृष्यका ___ हपु० १९.१६३-१६४ ३२. पाण्डव पु० ३८. राजा धृतराष्ट्र और रानी गान्धारी के सौ पुत्र दुःप्रगाह युयुत्सु विकट ऊर्णनाभ सुनाभ नन्द उपनन्दक चित्रवाणि चित्रवर्मा सुवर्मा दुविमोचन अयोबाहु महाबाहु श्रुतवान् पद्मलोचन भीमबाहु भीमबल ससेन पण्डित श्रुतायुध सुवीर्य दण्डधार महोदर चित्रायुध निषंगी पाश वृन्दारक शत्रुजय शत्रसह सत्यसन्ध ४१. क्रमांक सन्दर्भ पर्व नाम पुराण पाण्डव पु० इलोक १८७-१९१ ४४. नाम दुर्योधन दुःशासन दुघर्षण रणधान्त समाध विद मर्वसह अनुविन्द ४८. ४९. सुभीम सुबाहु दुःसह दुःशल सुगात्र Jain Education Intemational For Private & Personal Use Only www.jainelibrary.org


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