Book Title: Catalogue of Manuscripts at Jesalmer
Author(s): C D Dalal
Publisher: Central Library
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CATALOGUE OF PALM-LEAF MSS. 14. धर्मोत्तरटिप्पन by मल्लवादी, अभयकुमारचरित्र(मु.) by जिनेश्वर
शिष्यचंद्रतिलकोपाध्याय etc. (त्रुटितपत्र). 15. श्रावकदिनकृत्यवृत्ति. leaves 7-248. 261x2. 16. तिलकमंजरी (सं० ११३० ) (मु.) न्यायभाष्यवार्तिकवृत्ति (मु.) ___etc. (त्रुटितपत्र) 17. सुहबोधा सामाचारी by शीलभद्रसूरिशिष्यधनेश्वरसूरि etc. (त्रुटितपत्र). 18. त्रुटितपत्र 19. (1) न्यायकंदलीटिप्पन [by नरचन्द्र ]. leaves 1-164. 14x2. Beg:-अव्याहतमनायंतमनंतमहिमास्पदं ।
विष्टपत्रितयोद्योति ज्योतिस्तन्मे प्रसीदतु ॥ १॥ यथाम्नायं यथाप्रज्ञमात्मनः स्मृतिहेतवे।
कंदलीटिप्पनारंभसंरंभः क्रियते मया ॥ २ ॥ (2) न्यायावतारवृत्तिटिप्पन [by राजशेखर]. leaves 165-230. (मु.) Beg :-नत्वा श्रीवीरमेकांतध्वांतविध्वंसभास्करं।
वृत्तौ न्यायावतारस्य स्मृत्यै किमपि टिप्यते ॥ १॥ End:-न्यायावतारविवृतौ विषमं विभज्य किंचिन्मया यदिह पुण्यमवापि शुद्धं ।
संत्यज्य मोहमखिलं भुवि शश्वदेव भट्टैकभूमिरधु(मु)नास्तु समस्तलोकः ॥ इति न्यायावतारटिप्पनकं समाप्तं । संवत् १४८९ वर्षे श्रावणसुदि बुधे प्रयोदश्यां तिथौ लिखितं ।
20. अनुयोगद्वारवृत्ति (त्रुटित ). 160 leaves. 30 x 2. (मु.) ____ Beg:-सम्यम(क्सु)रेन्द्रकृतसंस्तुतिपादपद्म० । 21. छन्दोनुशासनवृत्ति by हेमचन्द्र. Size 14 x 2. (मु.)
Colophon:-सं० १४९० वर्षे आषाढसुदि ६ शनिदिने श्रीमति स्तभतीर्थे अविचलत्रिकालज्ञाज्ञापालनपटुतरे विजयिनि श्रीमत्खरतरगच्छे श्रीजिनराजसूरिपट्टे लब्धिलीलानिलयबंधुरव. हुबुद्धिबोधितभूवलयकृतपापपूरप्रलयचारुचारित्रचंदनतरुमलययुगप(प्र)वरोपममिथ्यात्वनिकरदिनकरप्रसरसमश्रीमद्गच्छेशभट्टारकश्रीजिनभद्रसूरीश्वराणामुपदेशेन ५० गूजरसुतेन रेषाप्राप्तसुश्रावकेण धरणाकेन पुत्रसाईयासहितेन छंदचू(दश्चू )डामणिपुस्तकं लिषापितं पुरोहितहरीयाकेन लिखितं । 22. (1) द्वादशकुलकविवरण by जिनपाल. (जिनपतिशिष्यलेश ).
ग्रं. ३३६३. 157 leaves. () रत्नचूडकथाविषम पद] विवरणटिप्पणक. 157-158 leaves. 23. न्यायप्रवेशटीका by हरिभद्र. 134 leaves. 9x 11. ग्रं. ५९० ?
____Colophon:-संवत् १२०१ वर्षे माघमासीयचरमशकले तुरीयतिथौ तिमिरासहनवासरे श्रीभृगुकच्छे स्थितिमता पंडितेन यशसा सहितेन धवलेन पुस्तिकेयमलेखि ।
Beg :-साधनं दूषणं चैव साभासं. 24. चंद्रलेखाविजयप्रकरण. a drama in five acts by देवचन्द्र pupil
___of हेमचन्द्र. 203 leaves. 9 x 12.
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