Book Title: Antardvando ke par
Author(s): Lakshmichandra Jain
Publisher: Bharatiya Gyanpith
View full book text
________________
उपाधियाँ
महासामन्ताधिपति माणिक्य भण्डारि
भावन गन्धहस्ति
यदुतिलक
कन्दर्प
रणरङ्गभीम
रणरङ्गसिंग
राजमार्तण्ड
ave
वसु बान्धव
वीरगङ्ग
शनिवारसिद्धि
श्रीकरमद हेगडे
श्रीबुवा वल्लभ षड्दर्शनस्थापनाचार्य
षड्धर्मचक्रेश्वर
लेख क्रमांक
135, 136, 156, 532
58,71
165
569
163
571
हिरियण्डनायक
हिरिय भण्डारि हिरिय नाणिक्य भण्डारि
388
अन्तों के पर
163
470
356, 377
64
526
82, 154, 162, 176, 342, 355, 444, 457, 476, 502, 547, 569
444, 571
71
272
352
485
156, 176, 532
संग्राम जत्तलड सत्याश्वकुलतिलक
532, 568
सममिमहाशब्द 135, 136, 156, 162, 342, 353, 374, 444
457, 476, 532, 568, 571
$38
273, 342, 481
455

Page Navigation
1 ... 182 183 184 185 186 187 188