Book Title: Anand Pravachana Part 1
Author(s): Anandrushi
Publisher: Ratna Jain Pustakalaya

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Page 339
________________ आनन्द प्रवचन : भाग १ • [ ३२९] जाय । प्रत्येक व्यक्ति को पूर्णतया सन्तुष्ट करके ही उनके मकानों को राजमहल बनवाने के लिये तुड़वाया जाय।" बादशाह की अत्यधिक उदारता के कारण, मकान मालिकों ने प्रसन्नता पूर्वक अपने-अपने मकान राजमहल बनाने के कारण खाली कर दिये। किन्तु एक बुढ़िया अपनी झोंपड़ी देने के लिये तैयार नहीं हुई। कर्मचारियों ने उसे लाख समझाया पर वह न मानी। बात बादशाह के कानों तक पहुंची। उन्होंने भी बुढ़िया से प्रेमपूर्वक कहा "अम्मा! तुम्हारी झोंपड़ी राजमहल के बीच में आती है अतः इसे हटालो । तुम्हें मुँहमांगी कीमत दूँगा । और कीमत नहीं चाहिये तो जितनी कहोगी जमीन दे दूँगा।" पर बुढ़िया ने तो वही टका- रात उत्तर दे दिया मैं न इस झोंपड़ी को बेचना चाहती हूँ, और न छोड़ना चाहती हूँ। तुम्हें जैसा अपना राजमहल प्यारा है, वैसी ही मुझे अपनी झोंपड़ी प्यारी है।" आज के युग में अगर कोई सा उत्तर दे देता तो क्या होता ? जब हम निजाम स्टेट में विचरण करते थे, तब सुना था कि वहाँ पर अनाज रखने के लिये भी लोगों से मकान जबर्दस्ती खाली करवा लिये गये थे। पर नौशेरवाँ बादशाह सही माये में बादशाह कर देने पर जोर जबर्दस्ती नहीं की और कहा -- नहीं है तो झोंपड़ी राजमहल के बीच में ही रहते दो!" — था, उसने बुढ़िया के इन्कार "ठीक है, अगर तुम्हारी इच्छा कुछ समय पश्चात् राजमहल बनकर तैयार हो गया। और बुढ़िया की झोंपड़ी भी वहीं बरकरार रही। एक दिन बादशाह ने उससे पूछा तुम्हें कोई तकलीफ तो यहाँ नहीं है ?" "क्यों बूढ़ी माँ ! - बुढ़िया ने उत्तर दिया 'मुझे तो कोई तकलीफ नहीं है। पर मेरी गाय इधर-उधर कहीं गोबर या मूत्र कर देती है तो सिपाही मुझे परेशान करते हैं।" - - बादशाह ने जब यह सुना तो फन सिपाहियों को बुलाया और उन्हें फटकारा "तुम इस बूढी माँ को क्यों परेशान करते हो ? गाय जानवर है। इधर उधर घूमते हुए अगर वह कोई स्थान गंदा कर दे तो तुम साफ कर लिया करो । आखिर तुम लोग हो किसलिये ?" कितनी महानता थी नौशेरवाँ में कितनी करुणा, कितनी दया तथा कितनी न्यायप्रियता थी उसमें ? जिसकी झोंपड़ी ने राजमहल का नक्शा ही बिगाड़ दिया था उस बुढ़िया के साथ भी उन्होंने धनीति और अन्याय नहीं किया । इसलिये कवि ने कहा है "इन्साफ - नीति के साथ रहने के कारण नौशेरवाँ बादशाह का नाम आज तक जिन्दा है मर जाने के बाद बादशाह भी दफनाया गया और

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