Book Title: Agam 22 Upang 11 Pushpachulika  Sutra Puffachuliyao Terapanth
Author(s): Tulsi Acharya, Mahapragna Acharya
Publisher: Jain Vishva Bharati

View full book text
Previous | Next

Page 236
________________ दिसादि- दुक्ख ३७, १७६, १७८ दिसादि ( दिशादि) ज ४२६०१२ मेरुपर्वत दिशापोक्खि (दिशाप्रोक्षिन् ) उ ३।५० दिसापोक्खिय ( दिशःप्रोक्षिक) उ ३१५०, ५५ दिसापकिय (तावस ) ( दिनाप्रक्षितःपस ) उ ३१५० दिसाहत्यिकूड ( दिश: हस्तिकूट ) ज ४।२२५ से २३३ दिसि (दिश् ) प २२७, २२३०११, २०६३, ३११११ ; ११।६६,६६।१:२१।६५, १६, २८१६,३१,६५, ३६।५६,६६,६८,७०,७२ से ७४ ज ४:२०४, २१०,२१६,२२०:५१३०, ७१४८, ५०, ५२, ५३ उ १ । २४; ३ । ५१,५३,६२,८१,१४३, १५६ दिसोभाग ( दिग्भाग) ज ३।२०८, ५५,४४,४५ उ ३।११३३४५२० दिसोभाय ( दिग्भाग) ज ११३,३३१६२,२०४, २०८४।१२०,१३६,५५,७ चं ७ सू ११२ उ ५१५ दोण (दीन) उ ११५, ३५, ३१९८ दणस्सर ( दोन स्वर ) ज २।१३३ दीणस्सरता ( दीनरवरता ) प २३१२० दीव (द्रीप ) प १।७४,७५,८०,८१,८४,२१,४,७, १३,१६ से १६,२८,२६,३०११,२३२,३३,३५, ३६, ४०१२,६,११,२१४३,५०,५१,१५११२, १५।५४,५५,१६ । ३०,३३।१० से १२,१५ से १७३६।८१ ज ११७,१५ से १८,२०,२३, ૪૭ १०२. १७५, १८२.१६८ से २०८,२१० से २१३ सू १।१४,१६,१७,१६ से २२,२४,२७,२।१, ३,३।१,२,४१३.४,७, १०,६११, ८११,१०११३२, १४२, १४७, १२।३०:१८१७.२० १६ १.२.६, ७ ८१३,६,१२ मे १४,१५१३, १६ १६, १९२२, २४,१६३२८.३१ से ३४ उ ११६; ३१७,६१, १२५, १५७ ५१२४,४३ दीवकुमार (दीपकुमार ) प १।१३१,५३,६११८ दीवग ( द्वीपिक) सू १०।१२० दीवणिज्ज ( दीपनीय ) प १७ । १३४ २०१८ दीविग ( द्वीपिक) ज २३६ दोदय ( द्वीपिक ) प १६६११।२१ ज ३१३६; ५३२ दविगाह (दीपिका) ३।१७ दीपिया (दीपिका) प ११।२३ दीविया हत्यगय ( ह्तगत दीपिका) ज ५ १२ Jain Education International / दीस (दृश् ) दीनं ति प १३४८३५७ ज ७ ३६,३८ दीह (दी ) प ६४/४; १३।२३ ज २।१५,६६; ३।१०६, १६७।११ दोहसर (दीर्घतर ) ज ४ । ८० दीहवेयड्ड ( दीर्घवंत ढ्य ) ज ६ १० दोहिया (दीधिकः ) प २०४, १३, १६ से १६,२८; ११।०३ ज २।१२ दु ( ) प १|१३ सू ११४ दुइ (द्वितीय) प ३२२ ३४,३५,४६.४८,५१,२०१,७,५२,५६,६०,११६, दुंदुभय (दुन्दुमक) ज ७ १८६।२ सू २०१८ (दुन्दुभक) सू २०१८१२ ३१२,७८, १८०, २०६५१५ २२२६,४६,४७.५६,६७ उ ११२१,१२२, १२५.१२६,१३३.१३४,१३८, ३।१११; ४११८; १६१, १६४,३१६६,३६,४७,५६,११३,१३३, १३८,४११,३१,३२,३४,४१,५२,५४,६२,६८, ६६,७६,८१,८६,९०,६३,२८,११४,१५६, १६०,१६५,१६७,१६६,१७२ से १७४, १७८, १८१,१०२,२०१ से २०३,२०६,२१३,२६२. २६५,२६८,२७१, २७४,२७८,५१३,२१,२२, २६.४४,५२,७४६।१ से ५७ से २६७|१, ३.४, ८ से १४,३१,३३,३० से ३९.५२. ५४, ६२,६३,६७ से ७२, ८६, ८७.६१.६२,१०१. दुहि (दुन्दुमि ) ५।१६ दुक्काहुन ( दुष्कालबहुल ) ज १।१८ दुक्ख ( दु:ख ) प २६४।२२,६१११०;२०११८; ३५/१/१,२,३५११०,११; ३६३८८,६२,६४११ जे ११२२,२७.५०: २२५८,७१,८८,८६,१२३, For Private & Personal Use Only www.jainelibrary.org

Loading...

Page Navigation
1 ... 234 235 236 237 238 239 240 241 242 243 244 245 246 247 248 249 250 251 252 253 254 255 256 257 258 259 260 261 262 263 264 265 266 267 268 269 270 271 272 273 274 275 276 277 278 279 280 281 282 283 284 285 286 287 288 289 290 291 292 293 294 295 296 297 298 299 300 301 302 303 304 305 306 307 308 309 310 311 312 313 314 315 316 317 318 319 320 321 322 323 324 325 326 327 328 329 330 331 332 333 334 335 336 337 338 339 340 341 342 343 344 345 346 347 348 349 350 351 352 353 354 355 356 357 358 359 360 361 362 363 364 365 366 367 368 369 370 371 372 373 374 375 376 377 378 379 380 381 382 383 384 385 386 387 388 389 390