Book Title: Agam 07 Ang 07 Upashak Dashang Sutra Stahanakvasi
Author(s): Madhukarmuni, Kanhaiyalal Maharaj, Trilokmuni, Devendramuni, Ratanmuni
Publisher: Agam Prakashan Samiti
________________ 212] [उपासकदशांगसूत्र 94 शब्द सूत्र शब्द निष्फंद 219 पक्केलय 200 /निब्भच्छ 200 पक्खिव 152, 154, 156 Vनिमिज्ज 197 पक्खेव 54 निम्मिय 206 पगास 95, 107 नियग पग्गह नियत्तण पग्गहिय 72 नियय 168,169, 171, 199,200 पच्चक्खा 13, 43, 235 निरवसेस 156 पच्चक्खाण निल्लंछण पच्चणुभवमाणी निल्लालिय पच्चत्थिम 74, 253 निवुडमाण 218 /पच्चप्पिण 206, 207 निव्वाण 218 पच्चोरुह 208 निसंत पच्चोसक्क 101, 107, 111, 256 निसम्म 12,61,80,137,155 पच्छा 197 204, 210 पच्छिम 57, 73, 79, 109, 252, निसा 259, 261 निसाम पज्जत्त निहाण 4, 17, 92, 125, 160, 165, पज्जुवास 9, 10, 59, 114, 174 182, 204, 232, 269, 273 Vनीणे 102, 136, 160, 163, 195, 230 पंच 6, 19, 20, 42, 44-57, 74, 83 पंचम नीय 71,157 77, 78 पंचाणुव्वइय नील 12, 58, 204, 210, 211 95, 99, 116, 127, 138 पंजलि 111, 208 116, 175, 192 नेत्त पट्टण 218 पट्रय नेयव्व 274 पडल 218 नेरइय 255 पडिउच्चारेयव्व नेरइयत्त 255, 257 पडिक्कंत 89, 122, 268 12, 58,62,84, 85, 95,101 पडिक्कम पइट्टिय 101 पडिगय 61, 75,111, 119, 172 पइविसिट्ठय 206 पडिग्गह 58 Vपउंज 255, 261 पडिग्गाह पउत्त 4, 17, 92, 125, 160 /पडिच्छ 102, 105 पउम 30 पडिच्छिय 12, 58 पउलिय 51 पडिजागरमाणी 238 पप्रोग 47 /पडिणिक्खम 10, 58,69, 78, 86 नणं नो Jain Education International For Private & Personal Use Only www.jainelibrary.org
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