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जेनशासन
प्रभाव उत्पन्न होता है वहाँका सजीव प्रभाव हृदयपटलपर एक बार भी अंकित होकर मक्ष अमिट रहता है।'
बुंदेलखंडम पन्ना रियासतक अन्तर्गत खजुराहोके जैन मन्दि की उच्च और नोज्ञ का भी इसनीय है। महारान्तिनाथलो २० हायके लगभग उन्नत प्रतिमा बहुत सुन्दर है । वहाँको स्थापत्यकला बहुत भव्य है।
जिम प्रकार अतिशय विशेष होने के कारण कोई स्थल अतिशय क्षेत्र रूपमें पूजा जाकर साधकके अन्तःकरणमे भव्य-भावनाओंको संक्ति करता है उसी प्रकार तीर्थकर भगवान के गर्भ, जन्म, तपश्चर्या तथा कंवल्योत्पत्तिके स्थान भी विशेष उद्बोधक माने जाते हैं। भगवान् पार्वनाम तश सुपार्श्वनाथ तोयंकरके जन्मसे काशी नगरी पवित्र हुई और वह साधकोंके लिये पुण्यधाम बन गई । इन सोकरोंके जन्मसे पवित्र बनारसी नगरोके प्रति भक्ति प्रकट करने के लिये श्रीयुत खरगसैनजी जौहरीन अपने होनहार चिरंजीव और सर्वमान्य महाकविका नाम बनारसीदास रखा था । अपने अर्घकथानके आरम्भमें जो पद्य इन्होंने दिए है वे उद्बोधक होने के साथ आनन्दजनक भी हैं तथा उनसे 'बनारस' नगर की अन्चयंता प्रकाशमें आती है
''पानि-जुगल-पुट-सोस धरि, मानि अपनपी दास ।
आनि भगति चित जानि प्रभु, वन्दो पास-सुपास ॥१॥ १. जैन सिद्धान्त-मास्कर भाग ८ किरण २ से ज्ञात होता है कि पर्वत उत्तर
दक्षिण १ मोल लम्बा, पूर्व-पश्चिम ६ फलोग चौड़ा है। पर्वतकी चढ़ाई सरल है। मन्दिर लगभग ८ सौ वर्ष प्राचीन कहे जाते हैं । भगवान् ऋषभदेवको मूति जटायुक्त है। वही तीर्थकर बाहुबली, शासन-देवता, मुनि
आधिका, श्रावक तथा श्राविकाओंकी मूर्तियां भी मिलती है। कहीं-कहीं दम्पतिका चित्र वृक्षके नोचे खड़ा हुआ पाया जाता है और प्रत्येककी गोदमें एक-एक बच्चा है। पुरातत्त्व विभागके तत्कालीन सुपरिन्टेन्डेन्ट श्रीयुत दयाराम सहानी एम० ए० ने इसका अर्थ यह सोचा है-"ये बच्चे अवसपिणीके सुषम-सुषम समयकी प्रसन्न जोड़ियां-युगलिये हैं और जिसके नीचे स्त्री पुरुष खड़े हैं यह वृक्ष फापट्टम है; जिससे उस जमानेमें मनुष्य वर्गको सभी इच्छाएं पूर्ण होती थीं ।' पुराणों में उत्तम भोगभूमिका जो वर्णन है उससे विदित होता है कि माता-पिता सन्ततिका मुख-दर्शन करने के पूर्व ही छोंक और जम्हाई ले शरीर परित्याग कर स्वर्गलोकको यात्रा करते थे। इस प्रकाशमें सहानी महाशयकी सूझ चिन्तनीय हो जाती है। शिलालेखोंकी दृष्टि से पन्त महत्वपूर्ण है। २०० शिलालेखों मेंसे १५७ ऐतिहासिक महत्व रखते हैं। नागरी अक्षरोंके क्रमिक विकासको जानने के लिए ये लेख बहुत कामके है।