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आगम
(१५)
“प्रज्ञापना" - उपांगसूत्र-४ (मूलं+वृत्ति:) पदं [३], --------------- उद्देशक: [-1, --------------- दारं [२७], --------------- मूलं [९३] मुनि दीपरत्नसागरेण संकलित..........आगमसूत्र - [१५], उपांग सूत्र - [४] “प्रज्ञापना" मूलं एवं मलयगिरि-प्रणीत वृत्ति:
प्रत
प्रज्ञापनाया: मलयवृत्ती
३अल्पबहत्वपदे महादण्डकासू.९३
सत्राक
[९३]
॥१६॥
दीप अनुक्रम [२९७]
Recenese
जोइसिया देवा संखिजगुणा ४० जोइसिणीओ देवीओ संखिजगुणाओ ४१ खयरपंचिंदियतिरिक्खजोणिआ नपुंसगा संखिजगुणा ४२ थलयरपंचिंदियतिरिक्खजोणिआ नपुंसगा संखिजगुणा ४३ जलयरपंचिंदियतिरिक्खजोणिआ नपुंसगा संखिजगुणा ४४ चउरिंदिया पजत्तया संखिजगुणा ४५ पंचिंदिया पजत्तया विसेसाहिया ४६ बेइंदिया पञ्जत्तया विसेसाहिया ४७ तेइंदिया पञ्जत्तया विसेसाहिया ४८ पंचिंदिया अपजत्तया असंखेजगुणा ४९ चउरिंदिया अपञ्जचया विसेसाहिया ५० तेइंदिया अपजत्तया विसेसाहिया ५१ बेइंदिया अपञ्जत्तया विसेसाहिया ५२ पत्तेयसरीरबायरवणस्सइकाइया पजत्तया असंखिजगुणा ५३ वायरनिगोया पन्जत्तया असंखिजगुणा ५४ वायरपुढवीकाझ्या पजत्तगा असंखिजगुणा ५५ बायरआउकाइया पञ्जत्तया असंखिजगुणा ५६ वायरवाउकाइया पजचगा असंखिजगुणा ५७ वायरतेउकाइया अपजत्तगा असंखिजगुणा ५८ पत्तेयसरीरबायरवणस्सइकाइया अपजत्तगा असंखिजगुणा ५९ वायरनिगोया अपजत्तया असंखिजगुणा ६० वायरपुढवीकाइया अपजचया असंखिजगुणा ६१ वायरआउकाइया अपजत्तया असंखिजगुणा ६२ वायरवाउकाइया अपजत्तया असंखिजगुणा ६३ सुहुमतेउकाइया अपजत्तया असंखिजगुणा ६४ सुहुमपुढवीकाइया अपञ्जत्तया । विसेसाहिया ६५ सुहुमाउकाइया अपजत्तया विसेसाहिआ ६६ सुहुमवाउकाइया अपजत्तया विसेसाहिआ ६७ सुहुमतेउकाइया पजत्तया संखिजगुणा ६८ मुहुमपुढवीकाइया पज्जत्तया विसेसाहिआ ६९ मुहुमआउकाइया पज्जत्तया विसेसाहिआ ७० सुहुमवाउकाइया पजत्तया बिसेसाहिआ ७१ सुहुमनिगोया अपज्जत्तया असंखिजगुणा ७२ सुहुमनिगोया पज्जत्तया संखिजगुणा ७३ अभवसिद्धिआ अणतगुणा ७४ परिवडियसम्मदिहि अर्णतगुणा ७५ सिद्धा अणंतगुणा ७६
॥१६॥
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