Book Title: Tirthankar Vandana
Author(s): Ratnatrayvijay
Publisher: Ranjanvijayji Jain Pustakalay

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Page 53
________________ १२६ श्रीपालराजा की नव रानी का नाम एवं माता-पिता नगरी का नाम राणी का नाम नगरी पिता उज्जयिणि प्रजापाल बब्बरकोट महाकाल रत्नसंचया कनक (१) मयणासुंदरी (२) मदनसेना (३) मदनमंजुषा (४) मदनमंजरी (५) गुणसुंदरी (६) त्रैलोक्यसुंदरी (७) श्रृंगारसुंदरी (८) जयसुंदरी (९) तिलकसुंदरी भव नगरी (१) मंदरनगर (२) दुसरा देवलोक में (३) मृगाकनगर (४) देवलोक (५) वारुणनगर (६) देवलोक (७) आदित्यपुर माता जया थाणा कुंडलपुर कंचनपुर - दलपतनगर कोल्लाकपुर सोपारनगर अंजना १२७ पवनपुत्र हनुमान के सात भव पिता माता रुपसुंदरी रत्नमाला पवनंजय कपुर तिलका कंचनमाला प्रियंगुराणी हरिचन्द्रराजा ४६ गुणमाला विजयाराणी तारामती नाम प्रियनंदीवणिक दमयंत वसुपाल मकर केतु वज्रसेना धरापाल पुरंदर राजा महसेनराजा विशेष श्रद्धावान श्रावक सिंहचंद्र धर्मिष्ठ सिंहवाहन लक्षीधर मुनि पासे दिक्षा हनुमान मोक्ष

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