Book Title: Samaysara
Author(s): Kundkundacharya, Vijay K Jain
Publisher: Vikalp

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Page 214
________________ अकारक 136, 161 अगर्हा 146 अचेतन 14, 34, 56, 79, 93, 137, 157, 173, 190 अचित्त 107, 115, 117 अजीव 10, 32, 44, 57, 98, 101, 128, 148, 192 अजीवमिथ्यात्व 44 अध:कर्म 137 अधर्म 4, 102, 188, 189, 191 अधारणा 146 अधोलोक 159 शब्दानुक्रमणिका अध्यवसान 23, 24, 25, 26, 92, 105, 125, 126, 127, 128, 129, 130, 190 अध्यात्मस्थान 28 अनन्य 11, 57, 79, 91, 148, 168, 175 अनाहारक 192 अनिन्दा 146 अनिवृत्ति 146 अनुभागस्थान 28 अन्तरात्मा 14 अन्यत्व 11 अपरिग्रह 102, 103, 126 अपरिहार 146 अप्रतिसरण 146 अप्रतिक्रमण 136, 146 अप्रत्याख्यान 136 अप्रमत्त 6, 9 अबद्ध 11, 15, 67 अमूढदृष्टि 111 अमृतकुम्भ 146 अरहन्त 3 अलोक 128 अवधिज्ञान 99 अविरति 44, 45, 47, 48, 55, 79, 82, 92, 110 अविशेष 11 अशुद्धि 146 असंयत 150 असत्य 126 असुर 154 अस्पृष्ट 11, 67 अज्ञान, अज्ञानी 13, 14, 15, 16, 23, 35, 44, 45, 46, 47, 48, 51, 61, 62, 63, 64, 65, 66, 73, 74, 76, 78, 81, 89, 92, 95, 98, 105, 107, 118, 120, 121, 131, 134, 150, 151, 155, 159, 176, 183, 193 आकाश 4, 189, 190 आयु कर्म 84, 119, 120, 121 आराधित 146 आलोचना 182 197

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