Book Title: Padma Vardhaman Sanskrit Dhatu Shabda Rupavali Part 01
Author(s): Rajpadmasagar, Kalyanpadmasagar
Publisher: Padmasagarsuri Charitable Trust

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Page 205
________________ विभक्ति के वाक्य वर्तमान कर्मणि बालक वडे आँख थी मंदिर जोवाय छ। बालेन नेत्राभ्याम् देवालयः दृश्यते। 3. बालक आँख वडे मंदिर जोतो हतो। बालः नेत्राभ्याम् देवालयं अपश्यत्। बालक वडे आँख थी मंदिर जोवायुं हतुं। बालेन नेत्राभ्याम् देवालयः अदृश्यतः / ह्य कर्तरि ह्य कर्मणि वर्तमान कर्तरि 2 चतुर्थी विभक्ति के वाक्य |1. राजा हाथ वडे भिखारी माटे धन आपे छ। . नृपः हस्ताभ्याम् भिक्षुकाय धनं यच्छति। राजा द्वारा हाथ वडे भिखारी माटे धन आपे छ। नृपेण हस्ताभ्याम् भिक्षुकाय धनं दीयते। राजा हाथ वडे भिखारी माटे धन आपतो हतो। नृपः हस्ताभ्याम् भिक्षुकाय धनं अयच्छत् / राजा द्वारा हाथ वडे भिखारी माटे धनं अपायुं हतुं नृपेण हस्ताभ्याम् धनं अदीयत वर्तमान कर्मणि ह्य कर्तरि ह्य कर्मणि वर्तमान कर्तरि पंचमी विभक्ति के वाक्य 1. हुं हाथ वडे महावीर माटे बगीचामाथी पुष्पो लाईं छु। अहं हस्ताभ्याम् महावीराय उद्यानात् पुष्पाणि आनयामि। 2. मारा वडे हाथ द्वारा महावीर माटे बगीचामांथी पुष्पो लवाय छ। मया हस्ताभ्याम् महावीराय उद्यानात् पुष्पाणि आनीयते / 3. हुं हाथ वडे महावीर माटे बगीचामांथी पुष्पो लाव्यो हतो। अहं हस्ताभ्याम् महावीराय उद्यानात् पुष्पाणि आनयाम् / वर्तमान कर्मणि ह्य कर्तरि 11871

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