Book Title: Jain Kalganana Vishayak Tisri Prachin Parampara
Author(s): Kalyanvijay
Publisher: Kalyanvijay

View full book text
Previous | Next

Page 29
________________ Shri Mahavir Jain Aradhana Kendra १०२ वीर-गताब्द 17 "" 19 135 "" 15 "" "" 35 33 33 "" 44 " 16 34 " 34 " 13 35 " 36 " : 35 "" ܝ ܙ "" "" " "" 37 "" " "" 11 " ܐܙ " "" "" " www. kobatirth.org नागरीप्रचारिणी पत्रिका घटनावली ० * गौतम इंद्रभूति का केवलज्ञान हुआ । १२* गौतम इंद्रभूति का निर्वाण | १८ शोभनराय का कलिग के राज्यासन पर प्रारोहण ! २०* आर्य सुधर्मा का निर्वाण | ३१ उदायी ने पाटलिपुत्र नगर को Acharya Shri Kailassagarsuri Gyanmandir बलाया । ६०* नंद राजा का पाटलिपुत्र में राज्याभिषेक | *४* मतांतर से आर्य जंबू का निर्वाण | ७० प्रार्य जंबू का निर्वाण | ७०* रत्नप्रभ सूरि द्वारा उपकेश वंश स्थापना । ७५* भार्य प्रभव का स्वर्गवास । पयार्य शय्यंभव का स्वर्गवास 1 १४८* आर्य यशोभद्र का स्वर्गवास । १४६ चंडराय का कलिंग में राज्याभिषेक । १४ आठवें नंद की कलिंग देश पर चढ़ाई | १५४* चंद्रगुप्त मगध का राजा बना । १५६* आर्य भूतिविजयजी का स्वर्गवास । १७०* आर्य भद्रबाहु स्वामी का स्वर्गवास । १८४ सम्राट चंद्रगुप्त का स्वर्गवास 1 १८४ बिंदुसार का राज्याधिकार | २०६ बिंदुसार का स्वर्गगमन 1 For Private And Personal Use Only

Loading...

Page Navigation
1 ... 27 28 29 30 31 32