Book Title: Hindi Jain Sahitya ka Bruhad Itihas Part 3
Author(s): Shitikanth Mishr
Publisher: Parshwanath Shodhpith Varanasi
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९२
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मग
५९२
मरुगुर्जर हिन्दी जैन साहित्य का बृहद् इतिहास बे लघु रास कृतियों १९८ भीमजी चौपई ८६, ८७ बोल सज्झाय
___३५ भुवनभानु केवली रास अथवा भक्तामर टब्बा
४११ रसलहरी रास भक्तामर बालावबोध ४२१ भुवनदीपक बालावबोध ४३३ भक्तामर भाषा कथा ४७५ भुवनानंद चौपई ५२१, ५०६ भक्तामर भाषा ४७५ भूधर शतक
१५ भक्तामर स्तोत्र पद्यानुवाद ५४९ भूधर विलास
३३८ भक्तामर स्तोत्र रागमाला २३५ भूपाल स्तोत्र भाषा ४६० भक्तामर सवैया
भोज चौपई
९१ भगवती सूत्र बालावबोध २९१ भोजराज चौपई भगवती सूत्र सञ्झाय ४६८ मंगलकलश चौपई ३६८ भर्तृहरि शतकमय बालावबोध मंगलकलश महामुनि चतुष्पदी ४११, ३०१
३८३ भहरि शतकमय भाषा टीका मंगलकलश रास ४८१
४२६ मंगलकलश चौपई अथवा भर्तृहरि मय भाषा अथवा
चरित्र १७६, १६४ . आनन्दभूषण २६७ मंगलकलश दास ५९, २२५ भद्रनंद संधि.
३९४ मगसीजी पार्श्व दशभव स्तवन भद्रबाहु चरित ५४२, १२९,
५२० ८४, ८३ मगसीजी पार्श्वनाथ स्तवन ६२ भरत बाहुवलि छंद ४२६ । मतानो छंद अथवा ईश्वरीछंद ९१ भरत बाहुबलि नो शलोको ५६ मत्स्योदर चौपई ५११ भवदत्त भविष्यदत्त चौपई २१५ मत्स्योदर चौपई १६५ भवभावना बालावबोध ३६० मत्स्योदर दास
४१९ भांगकरक सञ्झाय ५७ मदनयुद्ध ।
५४८ भामा पारसनाथ नु स्तवन ५७ मदन कुमार रास भारतीय विद्या
१११ मध्यकालीन बारमासा । भावना विलास ४२६ मधुबिन्दुक चौपई ३२१. भाव पच्चीसी
.३५ मनक महामुनि संञ्झाय ४३५ भावरत्न सूरि भास ५७ मनकरहा रास भावी नी कर्मरेख रास ४९१ मनराम विलास
३४६ भाषा सारथ
११२ मयण रेहा रास ५४६, ४६४ भीड़, भंजन स्तवन ५७ मरोठ की गजल
२२८
१२६
३१०
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