Book Title: Dharm Deshna
Author(s): Vijaydharmsuri
Publisher: Yashovijay Jain Granthmala

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Page 578
________________ सूरीश्वर और सम्राट सिद्धहस्त लेखक मुनिराज श्री विद्याविजयजी की ओजस्तिनी कलम से डिखे हुए इस ग्रंथ में जगद्गुरु रविजयसूरि और सम्राट अकबर का इतिहास, हिन्दी, गुजराती, बंगाली, अंग्रेजी और संस्कृत के ऐतिहासिक पुस्तकों के आधार से, लिखा गया है। कर और जहांगीर के फर्मानी, भाव बहादुर गौरीशंकर हीराचंद ओझाभी को प्रस्तावना, और कई चित्रों से राह 100 पृष्ठ का ग्रंथ अलंकृत है। यह इतिहास का सम्राट है। मूल्य 4-( प्राप्ति स्थानश्रीयशोविजयनग्रंथमाला हेरिस रोड-भावनगर.

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