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________________ श्रीभगवत्यङ्गं श्रीअभय वृत्तियुतम् भाग-१ // 68 // मिच्छादसणवत्तिया, एवं सम्मामिच्छादिट्ठीणंपि, से तेणटेणं गोयमा! // नेरइया णं भंते! सव्वे समाउया सव्वे समोववन्नगा?, गोयमा! नो इणटेसमटे, से केणटेणं?, गोयमा! नेरइया चउव्विहा पन्नत्ता, तंजहा- अत्थेगइया समाउया समोववन्नगा १अत्थेगइया समाउया विसमोववन्नगा 2 अत्थेगइया विसमाउया समोववन्नगा 3 अत्थेगइया विसमाउया विसमोववन्नगा ४से तेणटेणं गोयमा!॥ असुरकुमाराणं भंते! सव्वे समाहारा सव्वे समसरीरा, जहा नेरइया तहा भाणियव्वा, नवरं कम्मवन्नलेस्साओ परिवण्णेयव्वाओ, पुव्वोववन्नगा महाकम्मतरागा अविसुद्धवन्नतरागा अविसुद्धलेसतरागा, पच्छोववन्नगा पसत्था, सेसंतहेव, एवंजाव थणियकुमाराणं। पुढविक्काइयाणं आहारकम्मवन्नलेस्सा जहा नेरइयाणं // पुढविक्काइया णं भंते! सव्वे समवेयणा?, हंता समवेयणा, से केणटेणं भंते! समवेयणा?, गोयमा! पुढविकाइया सव्वे असन्नी असन्निभूया अणिदाए वेयणं वेदेति से तेणतुणं // पुढविक्काइया णं भंते! सव्वे समकिरिया 1, हंता समकिरिया, सेकेणद्वेणं?, गोयमा! पुढविक्काइया सव्वे माई मिच्छादिट्ठी ताणं णिययाओ पंच किरियाओ कजंति, तंजहा- आरंभिया जाव मिच्छादसणवत्तिया, से तेणतुणं समाउया समोववन्नगा, जहा नेरइया तहा भाणियव्वा, जहा पुढविक्काइया तहा जाव चरिंदिया। पंचिंदियतिरिक्खजोणिया जहा नेरइया नाणत्तं किरियासु, पंचिंदियतिरिक्खजोणिया णं भंते! सव्वे समकिरिया?, गोयमा!, णो ति०, सेकेणटेणं, गोयमा! पंचिंदियतिरिक्खजोणिया तिविहा पन्नत्ता, तंजहा-सम्मदिट्ठी मिच्छादिट्ठी सम्मामिच्छादिट्ठी, तत्थ णंजे ते सम्मद्दिट्ठी ते दुविहा पन्नत्ता, तंजहा- अस्सं(सं)जया य संजयासंजया य, तत्थणंजेते संजयासंजया तेसिणं तिन्नि किरियाओ कजंति, तंजहा-आरंभिया परिग्गहिया मायावत्तिया, असंजयाणं चत्तारि, मिच्छादिट्ठीणं पंच, सम्मामिच्छादिट्ठीणंपंच, मणुस्सा जहानेरइया नाणत्तं जे महासरीराते बहुतराए पोग्गले आहारेंति आहच्च आहारैतिजे अप्पसरीरा ते अप्पतराए आहारेंति अभिक्खणं आहारेंति सेसं जहा नेरइयाणंजाव वेयणा / मणुस्सा णं भंते! सव्वे समकिरिया?, गोयमा! णो १शतके उद्देशकः२ सूत्रम् 21 नैरयिकादिचतुर्विंशतिदण्डकमाहारशरीरोच्छ्वासकर्मवर्णलेश्यावेदनाक्रियाऽऽयुनवभिनिरुपणे प्रश्नाः / 888888888888886
SR No.600443
Book TitleVyakhyapragnaptisutram Part 01
Original Sutra AuthorN/A
AuthorDivyakirtivijay
PublisherShripalnagar Jain Shwetambar Murtipujak Derasar Trust
Publication Year2012
Total Pages578
LanguageSanskrit
ClassificationManuscript & agam_bhagwati
File Size39 MB
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