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________________ करा दिया जाता है। आना स्वाभाविक है। अत: विद्यार्थी नींद भगाने के लिए छोटे छात्रों के वजन से उनके बस्ते का वजन | रात में घंटे दो घंटे के अंतर से चाय-काफी का सेवन अधिक होता है, इन छोटे बच्चों को नींद आने पर भी करते रहते है, जिससे स्वास्थ्य पर प्रतिकूल प्रभाव पड़ता माता-पिता उन्हें जगाकर, डरा-धमकाकर होमवर्क पूरा | है। कराते हैं। प्रातः ब्रह्ममुहूर्त में जब उठने का समय होता है पहले गुरुकुलों में छात्र हाथ पैर धो कर पढ़ने | उस समय छात्र पढ़कर थकान उतारने के लिए सोना बैठते थे, पर आज जूते चप्पल पहने ही विद्यार्थी अध्ययन | पसंद करता है। प्रातः चार बजे से आठ बजे तक सो करते हुए दिखाई देते हैं। कर वह अपनी थकावट दूर करता है। प्रतिस्पर्धा के इस युग मे विद्यार्थी को आठ घण्टे पठन-पाठन में बहुतायत से अंग्रेजी माध्यम के के स्थान पर अठारह से बीस घण्टे तक पढना पडता | कारण छात्र हिन्दी मातृभाषा और गणित के अंकों को है, जिससे उसकी दिनचर्या और स्वास्थ्य दोनों प्रभावित | नहीं समझते हैं। केलकुलेटर और कम्प्यूटर के उपयोग होते हैं। | से याददाश्त कम होने लगी है। अध्ययन का उद्देश्य छात्र एकाग्रतापूर्वक अध्ययन नहीं करते हैं। वे | मात्र डिग्री प्राप्ति और सर्विस करना है। आज अध्यापन पढ़ते समय कुछ न कुछ खाते रहते हैं। कुछ टी.वी. | कार्य व्यवसाय बन गया है। अतः हमारा कर्त्तव्य है कि देखते हुए या गाने सुनते हुए पढ़ना पसंद करते हैं। संस्कृति की सुरक्षा और स्वास्थ्य का ध्यान रखते हुए इसकारण उन्हें जल्दी याद नहीं होता। कुछ छात्र घूम- | पठन-पाठन करें और विकृतियों से बचाव करें। घूम कर पढ़ते हैं, तो कुछ लेटकर पढ़ते हैं। यह पढ़ने भगवान् महावीर मार्ग का तरीका ठीक नहीं है। गंजबासौदा (विदिशा) म.प्र. रात में सोने का समय होता है, उस समय नींद । GATE की वरीयता सूची में अमित जैन इन्दौर। आचार्य ज्ञानसागर छात्रावास, जंवेरी बाग, नसिया में रहकर B.E. कर रहे छात्र अमित जैन, अशोक नगर ने M. Tech की प्रवेश परीक्षा GATE में ९९.३३% अंक प्राप्त कर अपना नाम पूरे भारत की वरियता सूची में दर्ज कराया है एवं देवी अहिल्या विश्वविद्यालय इन्दौर से बी.ई. में ९३% अंक प्राप्त कर विश्वविद्यालय में अव्वल रहे। भरतकुमार जैन, निदेशक आचार्य ज्ञानसागर छात्रावास जवेरी बाग, नसिया, इन्दौर (म.प्र.) श्री आदित्य कुमार जैन-कलकत्ता को सुयश श्री महेन्द्र कुमार जी जैन- फर्म मानक चन्द्र, महेन्द्र कुमार- कलकत्ता के सुपुत्र आदित्य जैन ने वर्ष २००७-२००८ की भारतीय कंपनी सेकेट्रीज की परीक्षा में ८वाँ स्थान प्राप्त किया है और २००८२००९ की भारतीय चार्टर्ड एकाउन्टेंट की परीक्षा में अपने प्रथम प्रयास में ४७वाँ स्थान प्राप्त कर पूरे जैन समाज का नाम भारत में रोशन किया है। मैं आदित्य के उज्ज्वल भविष्य की मंगलकामना करता राजेन्द्र कुमार जैन ६७/५०, स्ट्राण्ड बैंक रोड, कलकत्ता (नापिस पट्टी) - अप्रैल 2009 जिनभाषित 27 Jain Education International For Private & Personal Use Only www.jainelibrary.org
SR No.524338
Book TitleJinabhashita 2009 04
Original Sutra AuthorN/A
AuthorRatanchand Jain
PublisherSarvoday Jain Vidyapith Agra
Publication Year2009
Total Pages36
LanguageHindi
ClassificationMagazine, India_Jinabhashita, & India
File Size4 MB
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