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अग्रवाल दिगम्बर जैन पंचायत द्वारा आयोजित किया गया। संस्था के प्रधान श्री चक्रेश जैन ने पुनीत जैन (नवभारत टाइम्स) को सम्मानित किया।
-स्वराज जैन, द टाइम्स ऑफ इण्डिया, नई दिल्ली ** जैनविद्या एवं प्राकृत (पालि, संस्कृत, अपभ्रंश सहित) विषय पर पुनश्चर्या
पाठ्यक्रम का शुभारम्भ सुखाड़िया विश्वविद्यालय उदयपुर के जैनविद्या एवं प्राकृत विभाग के तत्त्वावधान में विश्वविद्यालय अनुदान आयोग, नई दिल्ली के सौजन्य से 22 अक्तूबर से 11 नवम्बर 2001 तक जैनविद्या एवं प्राकृत (पालि, संस्कृत, अपभ्रंश सहित) विषय पर पुनश्चर्या- पाठ्यक्रम (रिफ्रेशन कोर्स) आयोजित है। इसमें देश के सभी भागों से जैनविद्या, प्राकृत, पालि, संस्कृत एवं अपभ्रंश के प्राध्यापकगण भाग ले सकते हैं। —प्रो० प्रेमसुमन जैन, निदेशक **
भगवान् ऋषभदेव आद्य-संस्कृति के निर्माता हैं ___ 'ऋषभदेव प्रतिष्ठान' की ओर से एम०डी० जैन कॉलेज, आगरा के सभागार में तीर्थंकर ऋषभदेव महोत्सव एवं संगोष्ठी' का आयोजन 18-19 मार्च को हुआ। जिसकी अध्यक्षता आगरा-मण्डल के आयुक्त श्री एस०एन० झा ने की। मुख्य-वक्ता के रूप में दरभंगा विश्वविद्यालय के पूर्व कुलपति आचार्य प्रभाकर मिश्र उपस्थित थे। ऋषभदेव प्रतिष्ठान के अध्यक्ष श्री स्वरूप चन्द जी जैन ने सभी अतिथियों का अभिनन्दन किया। प्रतिष्ठान के महासचिव श्री हृदयराज जैन ने प्रतिष्ठान की ओर से पूर्व में आयोजित संगोष्ठियों की जानकारी दी एवं प्रतिष्ठान की स्थापना का उद्देश्य एवं भावी योजनाओं से अवगत कराया।
प्रो० मुनीश चन्द्र जोशी, महानिदेशक भारतीय पुरातत्व सर्वेक्षण, संस्कृत मनीषी डॉ० चन्दनलाल पाराशर; डॉ० धर्मवीर शर्मा, अधीक्षण पुरातत्वविद्, भारतीय पुरातत्व सर्वेक्षण, आगरा; प्रो० सत्यपाल नारंग, संस्कृत विभागाध्यक्ष, दिल्ली विश्वविद्यालय; डॉ० वृषभ प्रसाद जैन, लखनऊ एवं डॉ० जानकी प्रसाद द्विवेदी, वाराणसी; आगरा विश्वविद्यालय के कुलपति डॉ० जी०के० अग्रवाल; मद्रास हिन्दी शोध संस्थान के पूर्व-निदेशक डॉ० रवीन्द्र कुमार जैन; आदि मनीषीगण उपस्थित थे।
–सम्पादक ** जैन-इतिहास अब इंटरनेट पर जैनधर्म और जैनसमाज का गौरवशाली इतिहास अब 'इंटरनेट' के जरिये दुनिया के सामने आ चुका है। http://jainhistory.faithweb.com इस स्थान पर उपलब्ध जैन हिस्ट्री' इस वेबसाईट पर जैन-इतिहास के बारे में ढेर सारी अधिकृत-सामग्री दी गई है। इसमें चौबीस तीर्थंकरों के ऐतिहासिक चरित्र, पिछले 2600 वर्षों में हुए अनेक युगप्रवर्तक जैन आचार्यों का चरित्र व कार्य, विभिन्न जैन सम्राटों और राजवंशों का विवरण, जैन साहित्य का इतिहास, आधुनिक काल के महान् जैन-साधुओं और श्रावकों का परिचय, दुनियाभर के जैन इतिहासज्ञ, जैन-शोध-संस्थान, जैन-शोध-पत्रिकायें आदि की एक निर्देशिका उपलब्ध है। इस वेबसाईट के निर्माण में कोलोराडो विश्वविद्यालय' के यशवंत
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प्राकृतविद्या जुलाई-सितम्बर '2001