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________________ १०६ अनुसन्धान-७७ गयो विमाननई ऊडिनई तेडी कुमर सुजाण ल्यइ बाइ मइ आणियो ओ तुझ जीवन प्राण... नयणे माइं निरखीयो ठरियां सघलां गात्र तेडि हियडे भीडियो तुं मुझ जीवन पात्र... रविध्वज कहई हे अंजना ओ छई मोटो वीर पाथर चकचूरी किओ पडिउ भूमि शरीर... हणमंतरा तिहां थापिउ वीर बिरुद विस्तार शिलाचूर दीधो वली बीजो नाम उदार... नाम तणी करी थापना आगई चाल्यो वेगि कुशले मामो पुरि गयो टलीयो मनह उदेग... ऊतरिनइ मुहुले जई भागो भ्रमण कलेस सयण सहू आवी मिल्या पूछी लह्या अंदेस... मामो कहई हे अंजना बइठी करि ध्रमध्यान दान तणी शाला करी द्यइ षट् दरिसण दान... संतोषाणी अंजना सांभली वाणी सीत अकमना बईठी करइ दांन पुण्यस्युं प्रीति... पुरुष प्रसंसा जे लहइ अस्त्री त्रिणि विसरांम पतिपख मापख तातपख चोथी काइ न ठाम... सुत उछेरइ आपणो वली सुकृत सांचो करेई वात सुणो हिवइ पाछली रूडइ चित्त धरेई... ढाल - फागनी राग तोडी पवन कुमर लसकरथी आयो दिगपति वरुण हराय दशशिरकी बगसीस लहीनइं निज पुरि आयो नूर वजायो. रंगीले पीआ रस सांभलो हो... १०८ राजप्रमुख सब पुरिजन हरख्या जय जय शबद वधाय हय गय रथ संजोड करीनइ सब मिली सनमुख आय. रं० १०९ अभिमुख आवि चरणे लागो तात तणे ततकाल कुशलागम पूछी परवरीआ गावत मोहन गीत रसाल. रं० ११०
SR No.520579
Book TitleAnusandhan 2019 07 SrNo 77
Original Sutra AuthorN/A
AuthorShilchandrasuri
PublisherKalikal Sarvagya Shri Hemchandracharya Navam Janmashatabdi Smruti Sanskar Shikshannidhi Ahmedabad
Publication Year2019
Total Pages142
LanguageSanskrit, Prakrit
ClassificationMagazine, India_Anusandhan, & India
File Size9 MB
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