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________________ पृहसं० ७६६ पृष्ठ १३ गाया सं० विषय अरहन्त प्रतिमा और सिद्ध प्रतिमा में अमर १०१५-१०१८ मूलमंथकार का वक्तव्य संस्कृत टीकाकार का वक्तम्म १.९१ हिन्दी टीकाकी को प्रशस्ति परिशिष्ट खण्ड परिशिष्ट : १ करण सूत्र १ व्यास व परिधि का अनुपात व वृसाकार का क्षेत्रफल २ गेंद आदि गोल वस्तु का धनकल ३ शिखा का घनफल ४ पय प्राप्त करमा ५ विधम चतुर्भुज का क्षेत्रफल ६ ' मुख व भूमि प्राप्त करना ७ पदधन निकालना - बिलों का सङ्कलित धन ६ उत्तरोत्तर समान गुणाकार पदों का सङ्कलित धम १. वलय व्यास व सघी व्यास १६ शेखावतं का घनफळ १२ चव द्वारा विवक्षित पद प्राप्त करना १३ धनुषाकार क्षेत्र के वाण, जीवा, धनुष, वृत्तविष्कम्भ क्षेत्रफल १४ हिमवत् पर्वत आदि पर्वतों व क्षेत्र का वाण परिशिष्ट : २ नियम सची १ सम व विषम वर्गशलाका का अधं व चौथाई घन २ वराशि को वर्गशलाका व अघच्छेद ३ वर्गशि व घन राशि के गुणाकार व भागाहार ४ हार का हार ५ गुणनफल व भाजफल के अच्छत ६ वगित समगित राशि के अर्धच्छेद व वर्गशमाका - अधिक अर्धच्छेद व हीन अधच्छेद पृष्ठ ४-५
SR No.090512
Book TitleTriloksar
Original Sutra AuthorN/A
AuthorNemichandra Siddhant Chakravarti, Ratanchand Jain, Chetanprakash Patni
PublisherLadmal Jain
Publication Year
Total Pages829
LanguageHindi
ClassificationBook_Devnagari & Geography
File Size19 MB
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