SearchBrowseAboutContactDonate
Page Preview
Page 69
Loading...
Download File
Download File
Page Text
________________ २४ ] जीव तत्त्व की अपेक्षा नामादि निक्षेपों का चार्ट नाम स्थापना द्रव्य भाव किसी भी वस्तु का यह जीव है ऐसा काष्ठ आदिमें आगामी काल में मनुष्य होनेवाले को जीव नाम रखना स्थापना करना पहले ही मनुष्य कहना आगम भाव नो आगम भाव सद्भाव स्थापना असद्धाव स्थापना जीव संबंधी शास्त्र का जीवन पर्याय से [तदाकार ] . [अतदाकार] ज्ञाता एवं उसीमें उपयुक्त युक्त जीव । आगम द्रव्य नो आगम द्रव्य जीव संबंधी शास्त्र का. ज्ञाता किन्तु वर्तमान में अनुपयुक्त सुखबोधायां तत्त्वार्थवृत्ती ज्ञायक शरीर भावी तद् व्यतिरिक्त भूत वर्तमान भविष्यत् कर्म नोकर्म ज्ञानावरणादिअनेक प्रकार का शरीर के वृद्धि आदि के कारणभूत वस्तु
SR No.090492
Book TitleTattvartha Vrutti
Original Sutra AuthorBhaskarnandi
AuthorJinmati Mata
PublisherPanchulal Jain
Publication Year
Total Pages628
LanguageHindi
ClassificationBook_Devnagari, Philosophy, Tattvartha Sutra, Tattvartha Sutra, & Tattvarth
File Size18 MB
Copyright © Jain Education International. All rights reserved. | Privacy Policy