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विषय-सूची
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विषय
पृष्ठ विषय उत्पाद-व्यय सामान्य का नहीं, हेतु तथा आगमसे निर्दोष विशेषका होता है
सिद्धिकी दृष्टि उत्पादादिकी भिन्नता और अन्तरंगार्थता-एकान्तकी बौद्धनिरपेक्ष होनेपर अवस्तुता ५५ मान्यता सदोष एक द्रव्यकी नाशोत्पादस्थिति
विज्ञप्ति-मात्रताके एकान्तमें में भिन्न भावोंकी उत्पत्ति ५६ साध्य-साधनादि नहीं बनते ७८ वस्तुतत्त्वकी त्रयात्मकता ५७
बहिरंगार्थता-एकान्तकी सदोषता८० कार्य-कारिणोंकी सर्वथा
उफ उभय तथा अवक्तव्य भिन्नताका एकान्त
५८
एकान्तोंकी दोषता उक्त भिन्नतैकान्तमें दोष ६० अनन्यता-एकान्तकी सदोषता ६४
उक्त दोनों एकान्तोंमें अपेक्षाकार्यकी भ्रान्तिसे कारणकी भ्रांति
भेदसे सामंजस्य तथा उभयाभावादिक ६२
जीवशब्द संज्ञा होनेसे कार्य-कारणादिका एकत्व
सबाह्यार्थ है माननेपर दोष
संज्ञात्व-हेतुमें व्यभिचार-दोषका उक्त उभय तथा अवक्तव्य
निराकरण एकान्तोंकी सदोषता
संज्ञात्व-हेतु में विज्ञानदैतवादी
की शंकाका निरसन ८३ एकता और अनेकताकी निदोष व्यवस्था
बुद्धि तथा शब्दकी प्रमाणता और सिद्धिके आपेक्षिक-अनापेक्षिक
सत्याऽनृतकी व्यवस्था बाह्यार्थ
के होने न होने पर निर्भर ८६ एकान्तोंकी सदोषता उक्त उभय तथा अवक्तव्य
दैवसे सिद्धिके एकान्तकी एकान्तोंकी सदोषता
सदोषता उक्त आपेक्षिकादि एकान्तोंकी पौरुषसे सिद्धिके एकान्तकी निर्दोष-व्यवस्था
सदोषता सर्वथा हेनसिद्ध तथा आगमसिद्ध उक्त उभय तथा अवक्तव्यएकान्तोंकी सदोषता ७४ एकान्तोंको सदोषता उक्त उभय तथा अवक्तव्य दैव-पुरुषार्थ-एकान्तोंकी एकान्तोंकी सदोषता ७५ निर्दोष-विधि
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