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________________ (देव शिल्प ८ ) मकर - - - - - - - - - - --------... क्र, नक्षत्र चरणाक्षर सर्वोत्तम उत्तम मध्यम . भो वासुपूज्य, अजितगथ सुपार्श्वनाथ. पार्श्वनाथ महावीर, पदप्रभ नेमिनाथ कुंथुनाथ. चन्द्रप्रभ --------- - - - - - -------- २. जा पार्श्वनाथ विमलनाथ, अनंतनाथ अरहनाथ, शीतलनाथ आदिनाथ, चन्द्रप्रभ ----------------- ३. जी शीतलनाथ, श्रेयांसनाथ, शांतिनाथ. आदिनाथ सुपार्श्वनाथ संभवनाथ, अभिनंदननाथ पुष्पदंत ------------. मुनिसुव्रतनाथ पुष्पदंत, मल्लिनाथ, नमिनाथ, धर्मनाथ चंद्रप्रभ -----...-----.:--- आदिनाथ, शीतलनाथ मुनिसुव्रतनाथ, वासुपूज्य कुंथुनाथ ४. खी श्रेयांसनाथ, अजितनाथ सुमतिनाथ, पुष्पदंत - - - - - - - - - - - - - - - - - - - - - - नुनिसुव्रतनाथ, वासुपूज्य, नेमिनाथ महावीर श्रेयांसनाथ, संभवनाथ अभिनंनदननाथ, पद्मप्रभ विमलनाथ, अनंतनाथ अनंतनाथ अरहनाथ ------- ----- - --------- वासुज्य सुपार्श्वनाथ, पार्श्वनाथ, धर्मनाथ विमलनाथ, अनंतनाथ अरहनाथ, शांतिनाथ, मल्लिनाथ, नमिनाथ ५. खो विमलनाथ, अनंतनाथ, अरहनाथ चन्द्रप्रभ, मल्लिनाथ, नमिनाथ नमिनाथ, सुमतिनाथ, शांतिनाथ, कुंथुनाथ, अजितनाथ --------- ८. गा ------------------ महावीर, नभिनाथ आदिनाथ, शीतलनाश्य शांतिनाथ, मल्लिनाथ, नमिनाथ पुष्पदंत. पद्मप्रभ, कुंथुनाथ अजितनाथ, रांभवनाथ अभिनदननाथ ९. गी श्रेयांसनाथ, अजितनाथ धर्मनाथ,पार्श्वनाथ मुनिसुव्रतना सुपार्श्वनाथ,संभवनाथ अभिनंदननाथ
SR No.090130
Book TitleDevshilp
Original Sutra AuthorN/A
AuthorDevnandi Maharaj
PublisherZZZ Unknown
Publication Year
Total Pages501
LanguageHindi
ClassificationBook_Devnagari & Art
File Size9 MB
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